NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 8 ऐसे-ऐसे

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ऐसे-ऐसे NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 8

Class 6 Hindi Chapter 8 ऐसे-ऐसे Textbook Questions and Answers

एकांकी से

प्रश्न 1.
‘सड़क के किनारे एक सुंदर फ्लैट में बैठक का दृश्य। उसका एक दरवाज़ा सड़क वाले बरामदे में खुलता है …… उस पर एक फ़ोन रखा है। इस बैठक की पूरी तस्वीर बनाओ।
उत्तर:
छात्र स्वयं करेंगे।

प्रश्न 2.
माँ मोहन के ऐसे-ऐसे कहने पर क्यों घबरा रही थी ?
उत्तर:
माँ का घबराना स्वाभाविक था क्योंकि मोहन कुछ बताता ही नहीं था बस ऐसे-ऐसे किए जा रहा था। माँ ने सोचा पता नहीं यह कौन-सी बीमारी है और कितनी भयंकर है। इसलिए मोहन की माँ घबरा गई थी।

प्रश्न 3.
ऐसे कौन-कौन से बहाने होते हैं जिन्हें मास्टर जी एक ही बार में सुनकर समझ जाते हैं ? ऐसे कुछ बहानों के बारे में लिखो।
उत्तर:
ऐसे अनेक बहाने होते हैं जैसे आज स्कूल में कुछ नहीं होगा बस सफाई कराई जाएगी। कुछ छात्र कहते हैं कि मैं रात में पढ़ाई कर रहा था मेरी किताब और कापी वहीं छूट गई। कभी-कभी छात्र किसी दूर के रिश्तेदार की बीमारी का बहाना बना लेते हैं।

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 8 ऐसे-ऐसे

अनुमान और कल्पना

प्रश्न 1.
जब तुम्हारी तबीयत खराब होती है तो तुम्हारे घरवालों का व्यवहार तुम्हारे प्रति कैसा रहता है ? इसे शिक्षक को बताओ।
उत्तर:
जब हमारी तबीयत खराब होती है तो हमारे घरवाले बेहद परेशान हो जाते हैं पहले तो वे घर में रखी कोई चीज देते हैं जिससे तबीयत ठीक हो जाए। वे तुरंत डॉक्टर को बुलाते हैं। वे कभी कुछ पूछते हैं कभी कुछ। जब तक आराम नहीं आ जाता वे खाना-पीना तक भूल जाते हैं।

प्रश्न 2.
मान लो कि तुम मोहन की तबीयत पूछने जाते हो। तुम अपने और मोहन के बीच की बातचीत को संवाद के रूप में लिखो।
उत्तर:
अरे मोहन! तुम्हारी कैसी तबीयत है ?
मोहन : मेरे पेट में बहुत दर्द है।
तुमने कल क्या खाया था ?
मोहन : कल तो मैंने कुछ भी नहीं खाया।
जब कुछ भी नहीं खाया तो दर्द कैसे हो गया।
मोहन : पता नहीं कैसे हो गया यार।
किसी डॉक्टर को दिखाया या नहीं ?
मोहन : हाँ डॉक्टर को दिखाया है वे दवाई दे गए हैं चलो अच्छा है जल्दी ही ठीक हो जाओगे।

प्रश्न 3.
‘नाटक’ शब्द का आम जिंदगी में कब-कब इस्तेमाल किया जाता है ? सोचकर लिखो।
उत्तर:
नाटक शब्द का आम जिंदगी में तब इस्तेमाल किया जाता है जब हमें कोई बहाना बनाना होता है।

प्रश्न 4.
संकट के समय के लिए कौन-कौन से नंबर याद रखे जाने चाहिए। पुलिस, फायर ब्रिगेड और डॉक्टर से तुम कैसे बात करोगे?
उत्तर:
संकट के समय पुलिस, फायर बिग्रेड़ और हॉस्पिटल एवं चिकित्सक के नंबर याद रखे जाने चाहिए। यदि कोई वारदात होती है तो पुलिस को जानकारी देंगे। यदि कहीं आग लगती है तो फायर बिग्रेड को खबर देंगे। यदि कोई बीमार है तो डॉक्टर को फोन करेंगे।

हम पुलिस को कहेंगे कि अमुक स्थान पर कोई दुर्घटना हो गई है जल्दी पहुँचिए, फायर बिग्रेड को फोन करके घटना की जानकारी देंगे कि अमुक स्थान पर आग लगी है। रास्ता इधर-उधर से है जल्दी आ जाइए। डॉक्टर को कहेंगे कि मेरे अमुक रिश्तेदार की तबियत खराब है। आप जल्दी से जल्दी आकर उनकी हालत का जायजा लीजिए।

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भाषा की बात

(क) मोहन ने केला और संतरा खाया।
(ख) मोहन ने केला और संतरा नहीं खाया।
(ग) मोहन ने क्या खाया ?
(घ) मोहन केला और संतरा खाओ।
उपर्युक्त वाक्यों में से पहला वाक्य एकांकी से लिया गया है। बाकी तीन वाक्य देखने में पहले वाक्य से मिलते-जुलते हैं, पर उनके अर्थ अलग-अलग हैं। पहला वाक्य किसी कार्य या बात के होने के बारे में बताता है। इसे विधिवाचक वाक्य कहते हैं। दूसरे वाक्य का संबंध उस कार्य के न होने से है, इसलिए उसे निषेधवाचक वाक्य कहते हैं। (निषेध का अर्थ नहीं या मनाही होता है।) तीसरे वाक्य में इसी बात को प्रश्न के रूप में पूछा जा रहा है, ऐसे वाक्य प्रश्नवाचक कहलाते हैं। चौथे वाक्य में मोहन से उसी कार्य को करने के लिए कहा जा रहा है। इसलिए उसे आदेशवाचक वाक्य कहते हैं। अगले पृष्ठ पर एक वाक्य दिया गया है। इसके बाकी तीन रूप तुम सोचकर लिखो-
बताना : रुथ ने कपड़े अलमारी में रखे।
नहीं/मना करना : रुथ ने कपड़े अलमारी में नहीं रखे।
पूछना : क्या रुथ ने कपड़े अलमारी में रखे।
आदेश देना : रुथ कपड़े अलमारी में रखो।

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ऐसे-ऐसे Summary

एकांकी नाटक का सार

प्रस्तुत एकांकी नाटक में मोहन एक विद्यार्थी है जिसकी उम्र लगभग नौ साल है। वह एक दिन अपने पेट को पकड़कर कहता है कि मेरे पेट में ऐसे-ऐसे हो रहा है। उसके पेट में ऐसे-ऐसे क्या हो रहा है यह किसी की भी समझ में नहीं आता। उसकी माँ उसे सेंक लेने को कहती है तथा डॉक्टर को बुलाती है। मोहन अपने पिता के साथ दफ्तर गया था। मोहन की माँ ने अपने पति से पूछा कि कहीं इसने कुछ अंट-शंट तो नहीं खा लिया। मोहन के पिता बताते हैं कि इसने ऐसा कुछ भी नहीं खाया। यह तो वहाँ कूदता फिर रहा था। मोहन के पिता टेलीफोन करके डॉक्टर को बुलाते हैं। वे डॉक्टर के पूछने पर बताते हैं कि यह और कुछ नहीं बताता बस यही कहता है कि मेरे पेट में कुछ ऐसे-ऐसे हो रहा है। यह ऐसे-ऐसे क्या होता है मोहन तकलीफ से कराहने का नाटक करता है। उसकी माँ उसे सांत्वना देती है तभी वैद्य जी आते हैं वैद्य जी आकर कहते हैं कि बेटा मोहन क्या तुम्हारा खेलने से जी भर गया। वैद्य जी मोहन के पास कुरसी पर बैठ जाते हैं। वे उसकी नाड़ी देखकर कहते हैं कि वात का प्रकोप है। वे मोहन की जीभ भी देखते हैं और बताते हैं कि इसके पेट में कब्ज है। इस कारण वायु बढ़ गई है। वैद्य जी अपने हाथ की अँगुलियाँ फैलाकर . मोहन से पूछता है क्या तुम्हारे पेट में ऐसे-ऐसे होता है। मोहन हाँ कहता है। वैद्य जी कहते हैं कि मैं रोग समझ गया हूँ, अभी पुड़िया भेजता हूँ जल्दी ही ठीक हो जाएगा। मोहन के पिता वैद्य जी को पाँच का नोट देते हैं। वैद्य जी के जाते ही डॉक्टर साहब आ जाते हैं। डॉक्टर साहब मोहन के पास बैठते हैं। डॉक्टर साहब मोहन का कभी पेट दबाकर देखते हैं, कभी जीभ बाहर निकलवाकर देखते हैं। डॉक्टर साहब कहते हैं कि इसके चेहरे से लगता है कि इसके पेट में काफी दर्द है। डॉक्टर साहब भी मोहन के पेट में कब्ज ही बताते हैं। वे कहते हैं कि मैं अभी दवाई भिजवाता हूँ एक खुराक पीने के बाद तबियत सुधर जाएगी। वे कहते हैं कि कभी-कभी पेट में हवा रुक जाती है वह फँदा डाल लेती है इसलिए दर्द होता है। मोहन के पिता डॉक्टर साहब को दस रुपये देते हैं। तभी एक पड़ोसन मोहन को देखने के लिए आती है तो मोहन की माँ कहती है कि यह तो दर्द के मारे तड़फता फिर रहा है। पड़ोसन कहती है कि लगता है यह कोई नई बीमारी है। माँ कहती है कि इसने तो कुछ भी नहीं खाया।

मोहन के मास्टर जी मोहन को आवाज लगाते हुए घर में प्रवेश करते हैं। वे कहते हैं कि सुना है मोहन के पेट में बहुत दर्द हो रहा है। वह मोहन के पास जाकर कहते हैं दादा कल स्कूल भी जाना है। तुम्हारे बिना क्लास में रौनक कहाँ रहती है ? माता जी आपने मोहन को ऐसा क्या खिला दिया। मोहन की माँ कहती है कि इसने तो कुछ भी नहीं खाया तो मास्टर जी कहते हैं कि फिर शायद यह न खाने का दर्द है। उसी से ऐसे-ऐसे होता है। मास्टर जी कहते हैं कि मोहन की बीमारी का इलाज डॉक्टर के पास नहीं है। मैं इसकी बीमारी को जानता हूँ। अक्सर मोहन जैसे लड़कों को यह बीमारी हो जाती है। मास्टर जी मोहन के पास जाकर कहते हैं दर्द तो दूर हो ही जाएगा बेशक तुम कल स्कूल मत आना। पर तुम यह तो बताओ कि तुमने स्कूल का काम पूरा कर लिया या नहीं। मोहन ठिठकते हुए बोलता है कि सब नहीं हुआ। मास्टर जी ने कहा कि शायद सवाल रह गए हों। वह कहता है जी, हाँ,! मास्टर जी कहने लगे माता जी इसने महीना भर मौज की है। स्कूल का सारा काम रह गया आज ख्याल आया बस डर के मारे ऐसे-ऐसे होने लगा। इसकी दवाई मेरे पास है। स्कूल से इसकी दो दिन की छुट्टी। दो दिन में सारा काम पूरा करना है। माँ मोहन से कहती है कि तू तो बहुत उस्ताद है तूने तो हमें डरा ही दिया था। तभी दीनानाथ दवाई लेकर प्रवेश करते हैं। दवा की शीशी नीचे गिरकर टूट जाती है। सब ठगे से मोहन को देखते रहते हैं। इसके बाद सब हँस पड़ते हैं।

शब्दार्थ: गलीचा – सूत या ऊन के धागे से बुना हुआ कालीन, पुचकार कर – प्यार करके, अंट-शंट – फालतू चीजें, गड़-गड़ – गरजने की आवाज़, यकायक – एकदम, कल – चैन, बला – कष्ट, भला-चंगा – स्वस्थ, तंदरुस्त, अच्छा-खासा, घर सिर पर – शोर मचाना, गुलज़ार – चहल-पहल वाला, उठाना – शरारतें करना, धमा-चौकड़ी – उछल-कूद, कूद-फाँद, ऊधम, वात – शरीर में रहने वाली वायु के बढ़ने से होनेवाला रोग, प्रकोप – बीमारी का बढ़ना, बहुत अधिक या, तबीयत – शरीर या मन की स्थिति बढ़ा हुआ कोप, बदहज़मी – अपच, अजीर्ण, रौनक – चहल-पहल

Chapterwise Hindi NCERT Solutions Class 6

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 7 साथी हाथ बढ़ाना

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साथी हाथ बढ़ाना NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 7

Class 6 Hindi Chapter 7 साथी हाथ बढ़ाना Textbook Questions and Answers

प्रश्न 1.
यह गीत किसको संबोधित है?
उत्तर:
यह गीत परिश्रम करने वाले मनुष्य को संबोधित है।

प्रश्न 2.
इस गीत की किन पंक्तियों को आप अपने आस-पास की जिंदगी में घटते हुए देख सकते हैं?
उत्तर:
अपना दुख भी एक है साथी अपना सुख भी एक
अपनी मंजिल सच की मंजिल अपना रस्ता नेक
एक से एक मिले तो कतरा बन जाता है-दरिया
एक से एक मिले तो ज़र्रा बन जाता है सहरा

प्रश्न 3.
‘सागर ने रस्ता छोड़ा परबत ने सीस झुकाया’-साहिर ने ऐसा क्यों कहा है?
उत्तर:
साहिर ने ऐसा इसलिए कहा क्योंकि एक साथ कार्य करने से बड़ी से बड़ी बाधाओं में भी रास्ता निकल आता है अर्थात् कार्य आसान हो जाता है। साहसी व्यक्ति सभी बाधाओं पर आसानी से विजय पा लेता है।

प्रश्न 4.
गीत में सीने और बाँह को फौलादी क्यों कहा गया है ?
उत्तर:
फौलाद एक मजबूत धातु होती है। परिश्रमी व्यक्ति के सीने एवं बाजुओं में शक्ति भरी होती है। इसलिए कवि ने सीने और बाँह को फौलादी कहा है।

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 7 साथी हाथ बढ़ाना

गीत से आगे

प्रश्न 1.
अपने आस-पास किसे साथी मानते हैं और क्यों? इससे मिलते-जुलते दस शब्द अपने शब्द कोश में बढ़ाइए।
उत्तर:
हम अपने साथ पढ़ने वाले छात्रों को साथी मानते हैं। साथी शब्द से मिलते-जुलते अन्य शब्द हैं। मित्र, सहचर, सहपाठी, दोस्त, सखा, सखी, सहेली, हिमायती, सहायक।

प्रश्न 2.
‘अपना दुख भी एक है साथी, अपना सुख भी एक’
कक्षा, मोहल्ले और गाँव के किस-किस तरह के साथियों के बीच तुम इस वाक्य की सच्चाई को महसूस कर पाते हो और कैसे ?
उत्तर:
जब किसी परिवार पर विपत्तियों का पहाड़ टूटता है तो गाँव के सभी लोग उसकी सहायता करते हैं। जब गाँव में आग लगती है या कोई अन्य आपदा आती है तो सभी मिलकर उसका मुकाबला करते हैं।

प्रश्न 3.
इस गीत को आप किस माहोल में गुनगुना सकते हैं?
उत्तर:
इस गीत को हम जब सामूहिक कार्य कर रहे हों तब गुनगुनाया जा सकता है। यह गीत सामूहिक रूप से कार्य करने की प्रेरणा देता है अतः इस गाने को ऐसे ही मौके पर गुनगुनाया जा सकता है।

प्रश्न 4.
एक अकेला थक जाएगा, मिलकर बोझ उठाना’-
(क) तुम अपने घर में इस बात का ध्यान कैसे रख सकते हो ?
(ख) पापा के काम और माँ के काम क्या-क्या हैं ?
(ग) क्या वे एक-दूसरे का हाथ बँटाते हैं ?
उत्तर:
(क) जब माता जी या पिता जी का घर का अन्य सदस्य कोई कार्य करता है तो हम उसकी सहायता करते हैं।
(ख) हम पापा के जूतों पर पालिश करते हैं व कभी-कभी उनके कपड़े इस्त्री कर देते हैं। माता के साथ मिलकर सब्जी काटने, घर की सफाई करने, बाजार से कोई सामान लाने में मदद करते हैं।
(ग) हाँ वे भी एक दूसरे का हाथ बँटाते हैं।

प्रश्न 5.
यदि तुमने ‘नया दौर’ फिल्म देखी है तो बताओ कि यह गीत फ़िल्म में कहानी के किस मोड़ पर आता है ? फिल्म देखो और बताओ।
उत्तर:
यह गीत नया दौर में तब आता है जब गाँव में बस चलाई जाती है। बस के चलने से अनेक लोगों की रोजी-रोटी पर फर्क पड़ सकता था। बस के साथ घोड़े-तांगे की दौड़ होनी होती है। लोग मिलजुल कर एक सड़क का निर्माण करते हैं आखिर में घोड़े-तांगे की विजय होती है।

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 7 साथी हाथ बढ़ाना

भाषा की बात

प्रश्न 1.
अकेला चना भाड़ नहीं फोड़ सकता
एक और एक मिलकर ग्यारह होते हैं
(क) ऊपर लिखी कहावतों का अर्थ कविता की किन पंक्तियों से मिलता-जुलता है?
(ख) इन दोनों मुहावरों का अर्थ शब्दकोश में देखकर समझो और उनका वाक्य के संदर्भ में प्रयोग करो।
उत्तर:
(क) इन कहावतों का अर्थ निम्नलिखित पंक्तियों में मिलता है-
एक अकेला थक जाएगा मिलकर बोझ उठाना
एक से एक मिले तो कतरा बन जाता है- दरिया
एक से एक मिले तो ज़र्रा बन जाता है सहरा
एक से एक मिले तो राई बन सकती है परबत
एक से एक मिले तो इंसाँ बस में कर ले किस्मत

(ख) मिलजुल कर ही हम मैच जीत सकते हैं क्योंकि अकेला चना भाड़ नहीं फोड़ सकता।
संगठित होकर कार्य करने से शक्ति कई गुना बढ़ जाती है क्योंकि एक और एक आपस में मिलकर ग्यारह हो जाते हैं।

प्रश्न 2.
नीचे हाथ से संबंधित कुछ मुहावरे दिए हैं। इनके अर्थ समझो और प्रत्येक मुहावरे से वाक्य बनाओ।
हाथ को हाथ न सूझना
हाथ साफ करना
हाथ-पैर फूलना
हाथों-हाथ लेना
हाथ बोलते हैं
उत्तर:

  • अँधेरा इतना है कि हाथ को हाथ नहीं सूझता।
  • चोर ने तिजोरी पर अपना हाथ साफ़ कर लिया।
  • आग लग जाने पर हाथ-पैर फूल ही जाते हैं।
  • भारत अतिथियों को हाथों-हाथ लेता है।

कुछ करने को

प्रश्न 1.
बात करते समय हाथ हमारी बात को प्रभावशाली ढंग से दूसरे तक पहुँचाते हैं-
‘क्यों पूछते हाथ दुआ माँगते हाथ मना करते हाथ
समझाते हाथ, बुलाते हाथ, आरोप लगाते हाथ, चेतावनी देते हाथ, नारा लगाते हाथ, सलाम करते हाथ
इनका प्रयोग हम कब-कब करते हैं ? लिखिए।
उत्तर:
पूछते हाथ – जब हम किसी से कुछ प्रश्न पूछ रहे हों।
समझाते हाथ – जब हम किसी को कोई बात या काम समझा रहे हों या शिक्षक कक्षा में पढ़ा रहे हों।
चेतावनी देते हाथ – जब किसी कार्य को करने से मना करते हैं।
दुआ माँगते हाथ – जब हम मंदिर या मस्जिद में हाथ फैलाकर दुआ माँगते हैं।
बुलाते हाथ – जब हम किसी को इशारे से बुलाते हैं।
नारा लगाते हाथ – जब हम किसी को कोई कार्य करने से मना करते हैं जैसे इसे मत छुओ।
आरोप लगाते हाथ – हाथ उठाकर जब किसी पर कोई आरोप लगाते हैं जैसे इसने मेरी पुस्तक चुराई।
सलाम करते हाथ – जब हम हाथ जोड़कर किसी का अभिवादन करते हैं।

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 7 साथी हाथ बढ़ाना

नुक्ते की बारीकी

प्रश्न 1.
इस गीत के जिन शब्दों में नुक्ता लगा है उन्हें छाँट कर लिखो। जो शब्द तुम्हारे लिए कुछ नए हैं, उनका वाक्यों में प्रयोग करो।
उत्तर:
नुक्ते वाले शब्द इस प्रकार हैं-कतरा, ज़र्रा

प्रश्न 2.
नीचे दिए शब्दों में ‘हाथ’ शब्द छिपा है। इन शब्दों को पढ़कर समझो और बताओ कि हाथों का इनमें क्या काम है?
हथकड़ी, हथगोला, हत्था, हाथापाई,
निहत्था, हथकंडा, हथियार, हथकरघा
उत्तर:
हथकड़ी – सिपाही अपने हाथों से मुज़रिम के हाथों में हथकड़ी डालता है।
निहत्था – जिसके हाथ में कोई हथियार नहीं होता।
हथगोला – ऐसा अस्त्र जिसे हाथ से फेंका जाता है।
हथकंडा – हाथों की चालाकी या तरीका।
हत्था – चक्की का हत्था जिसको पकड़कर चक्की चलाई जाती है।
हथियार – हाथों से पकड़कर चलाया जाने वाला अस्त्र जैसे बंदूक।
हाथापाई – हाथों से एक दूसरे पर वार करना।
हथकरघा – हाथ से वस्त्र बुनने का देशी तरीका।

प्रश्न 3.
इस गीत के जिन शब्दों में नुक्ता लगा है उन्हें छाँट कर लिखो। जो शब्द तुम्हारे लिए कुछ नए हैं, उनका वाक्यों में प्रयोग करो।
उत्तर:
नुक्ते वाले शब्द हैं-ज़र्रा, क़तरा
ज़र्रा : ज़र्रे-ज़र्रे में खुदा का वास होता है।
क़तरा : हमारे सैनिक शरीर में खून का अंतिम कतरा रहने तक देश की रक्षा करने की कसम खाते हैं।

प्रश्न 4.
‘कल गैरों की खातिर की, आज अपनी खातिर करना।’
इस वाक्य को हम देखें तो साहिर लुधियानवी इसमें यह कहना चाह रहे हैं-
(तुमने) कल गैरों की खातिर (मेहनत) की, आज अपनी खातिर करना।
इस वाक्य में ‘तुम’ कर्ता है जो गीत की पंक्ति में छंद बनाए रखने के लिए हटा दिया गया है। उपर्युक्त पंक्ति में रेखांकित शब्द ‘अपनी’ का प्रयोग कर्ता ‘तुम’ के लिए हो रहा है, इसलिए यह सर्वनाम है। ऐसे सर्वनाम जो अपने आप के बारे में बताएँ निजवाचक सर्वनाम कहलाते हैं। (निज का अर्थ ‘अपना’ होता है।) निजवाचक सर्वनाम के तीन प्रकार होते हैं जो नीचे दिए वाक्यों में रेखांकित हैं-

  • मैं अपने आप (या आप) घर चली जाऊँगी।
  • बब्बन अपना काम खुद करता है।
  • सुधा ने अपने लिए कुछ नहीं खरीदा।

अब तुम भी निजवाचक सर्वनाम के निम्नलिखित रूपों का वाक्यों में प्रयोग करो-
अपने को, अपने से, अपना
अपने पर, अपने लिए, आपस में
उत्तर:
अपने को – मैं अपने को छोटा आदमी समझता हूँ।
अपने पर – मुझे अपने पर पूरा भरोसा है।
अपने से – मैं उसे अपने से अच्छा नहीं समझता।
अपने लिए – सब अपने लिए कार्य करते हैं।
अपना – सबको अपना काम खुद करना चाहिए।
आपस में – हमें आपस में मिल-जुलकर रहना चाहिए।

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 7 साथी हाथ बढ़ाना

शब्दार्थ

लेख – भाग्य, बोझ – भार, नेक – सुच्चा/सीधा, फौलादी – बहुत कड़ा और मज़बूत, कतरा – बूंद, राह – रास्ता, दरिया – नदी, गैर – पराया दूसरा, जर्रा – कण, खातिर – के लिए, सहरा – मरुस्थल, राई – सरसों का दाना, इंसाँ – इंसान, आदमी

प्रसंग- प्रस्तुत गीत साहिर लुधियानवी द्वारा रचित है। कवि ने इस गीत में परिश्रम और मिलजुल कर कार्य करने की महत्ता का
प्रतिपादन किया है।

व्याख्या- एक परिश्रमी व्यक्ति अपने अन्य साथियों से मिलकर काम करने की बात कहता है। वह कहता है कि अकेले तुम थक जाओगे इसलिए मिलजुल कर काम करो। हम परिश्रम करने वालों ने जब भी मिलजुल कर कार्य किया है तो हमारे सामने बड़ी से बड़ी बाधाएँ भी नहीं टिक पाईं। हमारे सीने भी मजबूत हैं अर्थात् हम मजबूत हृदय वाले हैं तथा हमारी भुजाओं में भी शक्ति है। हम विपरीत परिस्थितियों में भी रास्ता निकाल कर सफलता प्राप्त कर सकते हैं। मेहनत करना हमारे भाग्य में है इसलिए मेहनत से क्या डरना। हमारा सबका सुख-दुख समान ही है। हमारी मंजिल अच्छे कार्यों की मंजिल है, हमारा रास्ता ईमानदारी का है। कवि एकता के महत्त्व को बताते हुए कहता है कि एक-एक बूँद के मिलने से सागर बन जाता है। एक-एक कण के मिलने से मरुस्थल बन जाता है। एक-एक सरसों के दाने के मिलने से पर्वत बन सकता है। आपस में मिलजुल कर कार्य करने से इंसान अपनी किस्मत वश में कर सकता है इसलिए मिल जुलकर ही कार्य करना चाहिए।

साथी हाथ बढ़ाना Summary

कविता का सार

एक अकेला थक जायेगा मिल कर बोझ उठाना
साथी हाथ बढ़ाना
हम मेहनत वालों ने जब भी मिल कर कदम बढ़ाया
सागर ने रस्ता छोड़ा, परबत ने सीस झुकाया
फौलादी हैं सीने अपने फौलादी हैं बाहें
हम चाहें तो चट्टानों में पैदा कर दें राहें
साथी हाथ बढ़ाना
मेहनत अपनी लेख की रेखा मेहनत से क्या डरना
अपना दुख भी एक है साथी अपना सुख भी एक
अपनी मंजिल सच की मंजिल अपना रस्ता नेक
साथी हाथ बढ़ाना
एक से एक मिले तो कतरा बन जाता है-दरिया
एक से एक मिले तो जर्रा बन जाता है सहरा
एक से एक मिले तो राई बन सकता है परबत
एक से एक मिले तो इंसाँ बस में करले किस्मत
साथी हाथ बढ़ाना

Chapterwise Hindi NCERT Solutions Class 6

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 6 पार नज़र के

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पार नज़र के NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 6

Class 6 Hindi Chapter 6 पार नज़र के Textbook Questions and Answers

प्रश्न 1.
छोटू का परिवार कहाँ रहता था ?
उत्तर:
छोटू का परिवार ज़मीन के नीचे बसी हुई कालोनी में रहता था।

प्रश्न 2.
छोटू को सुरंग में जाने की इजाज़त क्यों नहीं थी ? पाठ के आधार पर लिखो।
उत्तर:
इस सुरंग में सुरक्षा कारणों से आम आदमी को जाने की मनाही थी। यहाँ केवल वह व्यक्ति जा सकता था जिसके पास सिक्योरिटी-पास हो। छोटू के पास सिक्योरिटी पास नहीं था। इस मार्ग से केवल कुछ चुनिंदा लोग ही जा सकते थे।

प्रश्न 3.
कंट्रोल रूम में जाकर छोटू ने क्या देखा और वहाँ उसने क्या हरकत की ?
उत्तर:
कंट्रोल रूम में जाकर उसने अंतरिक्ष यान क्रमांक एक देखा। उस यान से एक यांत्रिक हाथ बाहर निकल रहा था। हर पल उसकी लम्बाई बढ़ती जा रही थी। छोटू का पूरा ध्यान कॉन्सोल-पैनेल पर था। कॉन्सोल का एक बटन दबाने की उसकी इच्छां बार-बार हो रही थी। वह अपने को रोक नहीं पाया। उसने उसका लाल बटन दबा ही दिया। बटन के दबते ही खतरे की घंटी बज उठी। अपनी इस गलती पर उसने अपने पिता से एक थप्पड़ भी खाया क्योंकि उसके बटन दबाने से अंतरिक्ष यान की हरकत रुक गई थी।

प्रश्न 4.
इस कहानी के अनुसार मंगल ग्रह पर कभी जन-जीवन था वह सब नष्ट कैसे हो गया ? इसे लिखो।
उत्तर:
एक समय था जब लोग मंगल ग्रह पर जमीन के ऊपर रहते थे। धीरे-धीरे वातावरण में परिवर्तन आने लगा। कई तरह के जीव धरती पर रहते थे। सूरज में बहुत भारी परिवर्तन आया। सूरज से मिलने वाली रोशनी व ऊष्णता के कारण ही हम जिंदा रहते हैं। इनसे ही सभी जीवों का पोषण होता है। सूरज में परिवर्तन होते ही वहाँ का प्राकृतिक संतुलन बिगड़ गया। प्रकृति के बदले हुए रूप का सामना करने में यहाँ के पशु-पक्षी, पेड़-पौधे व अन्य जीव अक्षम (असमथ) साबित हुए। इस लिए मंगल ग्रह का जीवन नष्ट हो गया।

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 6 पार नज़र के

प्रश्न 5.
कहानी में अंतरिक्ष यान को किसने भेजा था और क्यों ?
उत्तर:
इस कहानी में अंतरिक्ष यान को पृथ्वी की एक अंतरिक्ष वैज्ञानिक नासा जिसका पूरा नाम नेशनल एअरोनॉटिक्स एंड स्पेस एडमिनिस्ट्रेशन (NASA) ने भेजा था । इस यान का नाम वाइकिंग था। पृथ्वी के वैज्ञानिक मंगल ग्रह की मिट्टी का अध्ययन करने के लिए बड़े उत्सुक थे। यह यान वहाँ से मिट्टी लेने गया था जिससे की वैज्ञानिक वहाँ की मिट्टी का अध्ययन करके यह पता लगा सकें कि पृथ्वी की तरह मंगल ग्रह पर भी जीव सृष्टि का अस्तित्व है या नहीं।

प्रश्न 6.
नंबर एक, नंबर दो और नंबर तीन अजनबी से निबटने के कौन से तरीके सुझाते हैं और क्यों ?
उत्तर:
नंबर एक का कहना था कि इस अजनबी यान में केवल यंत्र है हम इसको स्पेस में खत्म करने की क्षमता रखते हैं मगर इससे फिर कोई जानकारी हासिल नहीं होगी। जमीन पर उतरने को मज़बूर करने के यंत्र हमारे पास नहीं हैं। यदि यह खुद ब खुद जमीन पर उतर जाए तो हम इसे बेकार करने की क्षमता रखते हैं।

नंबर दो एक वैज्ञानिक थे वे बोले, “हालांकि यंत्रों को बेकार कर देने में भी खतरा है। इनके बेकार होते ही दूसरे ग्रह के लोग हमारे बारे में जान जाएंगे। इसलिए मेरी राय में हमें सिर्फ अवलोकन करते रहना चाहिए।”

नंबर तीन में कुछ इस तरह के तरीके बताए-
“जहाँ तक हो सके हमें अपने अस्तित्व को छुपाए ही रखना चाहिए क्योंकि हो सकता है जिन लोगों ने अंतरिक्ष यान भेजे हैं, वे कल की इनसे भी बड़े सक्षम अंतरिक्ष यान भेजें। हमें यहाँ का प्रबंध कुछ इस तरह रखना चाहिए जिससे इन यंत्रों को यह गलतफहमी हो कि इस जमीन पर कोई भी चीज इतनी महत्त्वपूर्ण नहीं है कि जिससे वे लाभ उठा सकें। अध्यक्ष महोदय से मैं यह दरख्वास्त करता हूँ कि इस तरह का प्रबंध हमारे यहाँ किया जाए।”

कहानी से आगे

प्रश्न 1.
(क) दिलीप एम. साल्वी
(ख) जयंत विष्णु नार्लीकर
(ग) आइज़क ऐसीमोव
(घ) आर्थर क्लार्क
ऊपर दिए गए लेखकों की अंतरिक्ष संबंधी कहानियाँ इकट्ठी करके पढ़ो और एक-दूसरे को सुनाओ। इन कहानियों में कल्पना क्या है और सच क्या है, इसे समझने की कोशिश करो। कुछ ऐसी कहानियाँ छाँटकर निकालो, जो आगे चलकर सच साबित हुई हैं।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

प्रश्न 2.
इस पाठ में अंतरिक्ष यान अजनबी बनकर आता है। ‘अजनबी’ शब्द पर सोचो। इंसान भी कई बार अजनबी माने जाते हैं और कोई जगह या शहर भी। क्या तुम्हारी मुलाकात ऐसे किसी अजनबी से हुई है ? नए स्कूल का पहला अनुभव कैसा था ? क्या उसे भी अजनबी कहोगे ? अगर हाँ तो ‘अजनबीपन’ दूर कैसे हुआ ? इस पर सोचकर कुछ लिखो।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

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अनुमान और कल्पना

प्रश्न 1.
यह कहानी जमीन के अंदर की जिंदगी का पता देती है। ज़मीन के ऊपर मंगल ग्रह पर सब कुछ कैसा होगा, इसकी कल्पना करो और लिखो।
उत्तर:
मंगल ग्रह पर न तो कोई पेड़-पौधा होगा न कोई नदी नाला । मंगल ग्रह पर जिधर भी देखें उधर ही पठारी भूमि, रेगिस्तान और मिट्टी के पहाड़ होंगे वहाँ किसी भी प्रकार का जीवन नहीं होगा।

प्रश्न 2.
मान लो कि तुम छोटू हो और यह कहानी किसी को सुना रहे हो तो कैसे सुनाओगे। सोचो और ‘मैं’ शैली में यह कहानी सुनाओ।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

भाषा की बात

प्रश्न 1.
सिक्योरिटी-पास उठाते ही दरवाज़ा बंद हो गया।
यह बात हम इस तरीके से भी कह सकते हैं-
जैसे ही कार्ड उठाया, दरवाज़ा बंद हो गया।
ध्यान दो, दोनों वाक्यों में क्या अंतर है। ऐसे वाक्यों के तीन जोड़े तुम स्वयं सोचकर लिखो।
उत्तर:

  1. जैसे ही मैं स्टेशन पर पहुँचा, गाड़ी छूट गई।
  2. जैसे ही रामू बाहर निकला, वर्षा शुरू हो गई।
  3. जैसे ही अध्यापक कक्षा से बाहर निकले, बच्चे शोर मचाने लगे।

प्रश्न 2.
छोटू ने चारों तरफ़ नज़र दौड़ाई।
छोटू ने चारों तरफ़ देखा।
उपर्युक्त वाक्यों में समानता होते हुए भी अंतर है।
वाक्यों में मुहावरे विशिष्ट अर्थ देते हैं। नीचे दिए गए वाक्यांशों में ‘नज़र’ के साथ अलग-अलग क्रियाओं का प्रयोग हुआ है। इनका वाक्यों या उचित संदर्भो में प्रयोग करो-
नज़र पड़ना, नज़र रखना, नज़र आना, नज़रें नीची होना
उत्तर:
(i) यदि यह व्यक्ति कहीं नज़र पड़े तो सौ नंबर पर सूचित करें।
(ii) हमें अपने आस-पास संदिग्ध व्यक्ति व वस्तुओं पर नज़र रखनी चाहिए।
(iii) रामू पता नहीं कहाँ रहता है कभी-कभी नज़र आता है।
(iv) शर्म के कारण हरीश की नज़रें नीची हो गईं।

प्रश्न 3.
नीचे दो-दो शब्दों की कड़ी दी गई है। प्रत्येक कड़ी का एक शब्द संज्ञा है और दूसरा शब्द विशेषण है। वाक्य बनाकर समझो और बताओ कि इनमें से कौन-से शब्द संज्ञा हैं और कौन-से विशेषण।
आकर्षक आकर्षण, प्रभाव प्रभावशाली, प्रेरणा प्रेरक।
उत्तर:
आकर्षक – ताजमहल बहुत आकर्षक है। (यहाँ आकर्षक विशेषण है)
आकर्षण – ताजमहल का आकर्षण मंत्र मुग्ध कर देता है। (यहाँ आकर्षण भाववाचक संज्ञा है)
प्रभाव – शिक्षक का प्रभाव छात्रों पर अवश्य पड़ता है। (प्रभाव संज्ञा है)
प्रभावशाली – महेश का व्यक्तित्त्व बहुत प्रभावशाली है। (‘प्रभावशाली’ विशेषण है)
प्रेरणा – हमें सुभाष चंद्र बोस के जीवन से देशभक्ति की प्रेरणा लेनी चाहिए। (प्रेरणा संज्ञा है)
प्रेरक – सुभाष का व्यक्तित्त्व प्रेरक है। (यहाँ प्रेरक विशेषण है)

प्रश्न 4.
पाठ से फ और ज़ वाले (नुक्ते वाले) चार-चार शब्द छाँटकर लिखो। इस सूची में तीन-तीन शब्द अपनी ओर से भी जोड़ो।
उत्तर:
‘फ’ नुक्ते वाले शब्द-तरफ़, फ़रमा, सफ़र, शिफ्ट।
‘ज’ नुक्ते वाले शब्द-नज़र, रोज़, ज़मीन, दरवाज़े।

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 6 पार नज़र के

महत्त्वपूर्ण गद्यांशों की सप्रसंग व्याख्या

1. वैसे तो …………………… गया था।

प्रसंग- प्रस्तुत गद्यांश हमारी पाठ्य-पुस्तक ‘वसंत’ में संकलित पाठ ‘पार नज़र के’ से लिया गया है। जिसके लेखक ‘जयंत नार्लीकर’ है। लेखक ने मंगल ग्रह पर जीवन होने की कल्पना की है और वह अपनी इस कल्पना को ही यहाँ साकार करने का प्रयास कर रहे हैं।

व्याख्या- छोटू एवं उसका परिवार जिस कालोनी में रहता है वह पूरी की पूरी कालोनी ज़मीन के नीचे ही बसी हुई है। सुरंगनुमा रास्ते में अंदर दीये जल रहे थे। बाहर का वातावरण ऐसा नहीं था जिस पर जीवन कायम रह सके। इस सुरंगनुमा रास्ते से बाहर जाया जा सकता था। सबसे पहले एक बंद दरवाजा पड़ता था। उसमें एक खाँचा बना हुआ था। उस खाँचे में कार्ड डालने से दरवाजा स्वतः ही खुल जाता था। छोटू ने इस दरवाजे से ही सुरंग में प्रवेश किया। सिक्योरिटी पास स्वतः ही अंदर वाले खाँचे में आ गया। छोटू ने अंदर आकर कार्ड को उठा लिया। कार्ड के उठाते ही दरवाजा स्वतः ही बंद हो गया। छोटू ने चारों ओर देखा यह रास्ता अंदर की ओर जाता था। छोटू ने अपने मन में सोचा कि आज तो ज़मीन के ऊपर का सफर करने का मौका मिल गया है।

2. एक समय …………………… सामना किया।

प्रसंग- प्रस्तुत गद्यांश हमारी पाठ्य-पुस्तक ‘वसंत’ में संकलित पाठ ‘पार नज़र के’ से लिया गया है। यह पाठ ‘जयंत नार्लीकर’ द्वारा लिखा गया है। इस पाठ में लेखक बताता है कि मंगल ग्रह पर भी पहले लोग ज़मीन के ऊपर ही रहते हैं परन्तु सूरज में हुए परिवर्तन के कारण ज़मीन का प्राकृतिक संतुलन बिगड़ गया।

व्याख्या- लेखक इस कथा के माध्यम से पृथ्वी वासियों को प्रकृति के साथ छेड़छाड़ करने पर चेताना चाहता है। लेखक कहता है कि एक समय मंगल ग्रह पर सभी लोग ज़मीन के ऊपर ही रहा करते थे। तब मंगल ग्रह का वातावरण जीवन के अनुकूल था। ज़मीन के ऊपर आदमी बिना किसी यंत्र की सहायता के रह सकते थे। उनको कोई खास किस्म की पोशाक भी नहीं पहननी पड़ती थी। जिस प्रकार से अब बिना स्पेस-सूट के बाहर नहीं जा सकते तब ऐसा नहीं था। हमारे पूर्वज ज़मीन के ऊपर ही रहते थे। धीरे-धीरे ज़मीन का वातावरण बदलने लगा। पहले धरती पर अनेक प्रकार के जीव रहा करते थे। प्राकृतिक संतुलन बिगड़ने के कारण एक-एक करके सभी जीव मरने लगे। इस परिवर्तन का सबसे बड़ा कारण था सूरज में हुआ परिवर्तन। सूरज ही हमको गर्मी और सर्दी देता है। इन तत्त्वों के कारण ही जीव जन्तुओं का विकास एवं पोषण होता है। प्रकृति का संतुलन बिगड़ने से यहाँ के जीव-जंतु सहन नहीं कर पाए उनकी क्षमता समाप्त होने लगी। केवल मानव ही इसका सामना कर सका इस कारण जीव-जन्तु व पेड़ पौधे सभी धरती से समाप्त हो गए।

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 6 पार नज़र के

पार नज़र के Summary

कविता का सार

एक सुरंगनुमा रास्ता था सभी लोगों को वहाँ से जाने की इजाजत नहीं थी केवल कुछ लोग ही वहाँ से गुज़र सकते थे। छोटू के पापा इसी सुरंग से होकर काम पर जाया करते थे क्योंकि उनके पास सिक्योरिटी पास था। एक दिन छोटू ने पापा का पास ले लिया और सुरंग की तरफ जाने लगा। फिर क्या छोटू की मम्मी ने छोटू को डाँट लगायी बोली तुम्हें कितनी बार कहा वहाँ मत जाया करो, छोटू बोला पापा क्यों जाते हैं रोज-रोज उस तरफ! रोज छोटू की अपनी माँ से यही बात होती थी। मम्मी बोली पापा को वहाँ से काम पर जाना होता है। कुछ चुनिंदा लोग ही इस सुरंग से गुज़र कर जा सकते थे, छोटू के पापा भी उन्हीं में से थे। एक बार छुट्टी के दिन छोटू के पापा घर पर आराम कर रहे थे कि छोटू ने पापा का सिक्योरिटी पास लिया और सुरंग की तरफ चल दिया। सुरंग में प्रवेश करने से पहले एक दरवाज़े का सामना करना पड़ता था। दरवाज़े में एक खांचा था उसमें कार्ड डालने पर दरवाज़ा खुल जाता था छोटू ने कार्ड डाला दरवाज़ा खुल गया और उसने अंदर प्रवेश करके कार्ड उठा लिया। कार्ड को उठाते ही दरवाजा बंद हो गया। छोटू ने चारों तरफ देखा उसे एक रास्ता ऊपर की ओर जाता हुआ दिखायी दिया। वह बहुत खुश था कि उसे सफर करने का एक मौका मिला मौका हाथ लगते ही फिसल गया। सुरंग में लगे यंत्रों की जानकारी छोटू को नहीं थी, उन यंत्रों ने छोटू की तस्वीर खींच ली तभी जाने कहाँ से कुछ सिपाही दौड़े आए और छोटू को पकड़कर वापिस घर पर छोड़ दिया।

छोटू की माँ उसका घर पर इंतजार कर रही थी। छोटू को अपनी पिटाई का डर लग रहा था। छोटू के पापा घर पर ही थे जिससे छोटू मम्मी की पिटाई से बच गया। उसके मम्मी पापा ने उसे समझाया फिर ऐसी गलती कभी मत करना। छोटू का सवाल था कि पापा आप भी तो जाते हैं वहाँ पर फिर मुझे क्यों रोकते हो। छोटू के पापा बोले मैं एक किस्म का स्पेस सूट पहनकर वहाँ जाता हूँ जिससे मुझे ऑक्सीजन मिलती रहे, मैं साँस लेता रहूँ। मैं उस स्पेस सूट की वजह से ही अपने शरीर को बाहर की ठण्ड से बचा पाता हूँ। खास किस्म के जूतों के सहारे मेरा वहाँ जमीन पर चलना सम्भव होता है। वहाँ की जमीन पर चलने के लिए हमें एक प्रकार का प्रशिक्षण दिया जाता है।

यह सब बातें छोटू सुन रहा था। पापा आगे बताने लगे कि एक समय था जब अपने मंगल ग्रह पर लोग जमीन के ऊपर रहते थे बिना किसी यंत्रों के सहारे हमारे पूर्वज जमीन के ऊपर रहा करते थे। धीरे-धीरे वातावरण में परिवर्तन आने लगा और एक के बाद एक सब मरने लगे इसका कारण था सूर्य में हुआ परिवर्तन।

अपने तकनीकी ज्ञान के कारण ही हमने अपना घर जमीन के नीचे बना लिया। जमीन के ऊपर लगे यंत्रों के सहारे हम सूर्य की रोशनी और गर्मी का उपयोग करते आ रहे हैं। यंत्रों के सहारे हम जमीन के नीचे जी रहे हैं। इन यंत्रों को चलाने में बड़ी सतर्कता बरतनी पड़ती है। मुझ जैसे कुछ लोग ही इन यंत्रों का ध्यान रखते हैं। छोटू बोला मैं भी बड़ा होकर यही काम करूँगा। इसके लिए तुम्हें बहुत मेहनत करनी होगी। अगले दिन छोटू के पापा काम पर चले गए और स्टाफ के प्रमुख ने स्क्रीन की तरफ इशारा किया। स्क्रीन पर एक बिन्दु झलक रहा था। छोटू के पापा ने अपना संदेह प्रकट किया कि यह अंतरिक्ष यान तो नहीं। वे सोच में डूब गए। वैसे तो हमारे पूर्वजों ने अंतरिक्ष यानों व उपग्रहों का उपयोग किया है। लेकिन हमारे लिए असम्भव है छोटू के पापा ने अंतरिक्ष यान का. अवलोकन जारी रखा। कालोनी की प्रबंध समिति की सभा बुलायी गयी थी। अध्यक्ष भाषण दे रहे थे। दो अंतरिक्ष यान मंगल ग्रह की तरफ बढ़ते चले आ रहे थे। कम्प्यूटर के अनुसार ये यान किसी नज़दीक ग्रह से छोड़े गए हैं इसके लिए हमें एक योजना बनानी चाहिए। नंबर एक पर कालोनी की सुरक्षा की जिम्मेदारी थी, वे बोले कि इन अंतरिक्ष यानों को हम जलाकर राख कर देंगे। इससे हमें कोई जानकारी हासिल नहीं होगी। मेरी जानकारी के अनुसार अंतरिक्ष यानों में कोई जीव नहीं है। इसमें केवल यंत्र है। नंबर एक की बात तो सही जान पड़ती है।

नंबर दो एक वैज्ञानिक थे। उनका कहना था कि हमें अपने अस्तित्व को छुपाए रखना चाहिए और सिर्फ अवलोकन करना चाहिए। नंबर तीन सामाजिक व्यवस्था का काम देखते थे। अध्यक्ष कुछ बोलने ही वाले थे कि उन्होंने पहले कहा अंतरिक्ष यान नंबर एक हमारी जमीन पर उतर चुका है। वह दिन छोटू के लिए बहुत महत्त्वपूर्ण था। पापा छोटू को कंट्रोल रूम ले गए। जहाँ से अंतरिक्ष यान बिल्कुल स्पष्ट नज़र आ रहा था। छोटू यान के बारे में पूछने लगा कि इससे क्या होगा। तभी छोटू के पापा ने कहा कि अभी कुछ बताया नहीं जा सकता। तब उन्होंने छोटू को एक कॉन्सोल दिखाया उस पर कई बटन थे। छोटू का सारा ध्यान इधर-उधर से हटकर कॉन्सोल पैनल पर चला गया वह अपनी बटन दबाने की इच्छा को रोक नहीं पाया, उसने बटन दबा दिया। उसके बटन दबाते ही खतरे की घंटी बजी। खतरे की घंटी बजते ही छोटू के पापा ने छोटू को अपनी तरफ खींचते हुए उसे एक चाँटा लगा दिया और बटन को पूर्व स्थिति में लाने की कोशिश में लग गए और कुछ समय बाद बटन अपनी पूर्व स्थिति में आ गया।

मंगल की धरती पर उतरा अंतरिक्ष यान वाइकिंग पर अपना कार्य कर ही रहा था कि किसी कारणवश अंतरिक्ष यान का यांत्रिक हाथ बेकार हो गया। उसको ठीक करने के प्रयास किये जा रहे थे। नासा के तकनीशियन भी इस बारे में जाँच कर रहे थे। इसके कुछ दिन बाद पृथ्वी के सभी अखबारों ने यह छापा कि नासा के तकनीशियनों को वाइकिंग को रिमोट के सहारे ठीक करने में सफलता मिली। यांत्रिक हाथों ने मंगल की मिट्टी के नमूने इकट्ठे करने शुरू कर दिए। मंगल की मिट्टी का अध्ययन करने के लिए पृथ्वी के वैज्ञानिक उत्सुक थे। उन्हें पूरी आशा थी कि अध्ययन के द्वारा यह पता लगाया जा सकता है कि मंगल ग्रह पर पृथ्वी की तरह जीव का अस्तित्व है या नहीं यह आज भी एक रहस्य है।

शब्दार्थ: सुरंगनुमा – जमीन के अंदर बना रास्ता, सूचना – जानकारी, प्रतिवेदन, नियंत्रण – प्रतिबंधन, वश में रखना, ठंड – शीत, वातावरण – पृथ्वी के चारों ओर की वायु, प्राकृतिक – प्रकृति संबंधी, लौकिक, पूर्वज – पूर्व अधिकारी, पुरखे लोप, कम्प्यूटर – संगण, सिक्योरिटी – सुरक्षा, चंद – कुछ, चुनिंदा – चुना हुआ, मौका – अवसर, संदेहास्पद – संदेहपूर्ण, खैरियत – कुशल, हरकत – हिलना-डुलना, कद – आकार, देह की ऊँचाई-लंबाई, माहौल – वातावरण, परिस्थिति, मुमकिन – संभव, किस्म – प्रकार, सतर्कता – सावधानी, शिफ्ट – पारी, मंशा – इच्छा, अडिग – स्थिर, यान – वाहन, अवलोकन – निरीक्षण, प्रबंध – व्यवस्था, गिर्द – आसपास, खाक – धूल, मिट्टी, राख, गलतफहमी – गलत समझना, दरख्वास्त – निवेदन, अर्जी, उकेरना – खोद कर उठाना, सहसा – अचानक, दुरुस्त – ठीक

Chapterwise Hindi NCERT Solutions Class 6

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 5 अक्षरों का महत्व

These NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 5 अक्षरों का महत्व Questions and Answers are prepared by our highly skilled subject experts.

अक्षरों का महत्व NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 5

Class 6 Hindi Chapter 5 अक्षरों का महत्व Textbook Questions and Answers

प्रश्न 1.
पाठ में ऐसा क्यों कहा जाता है कि अक्षरों के साथ एक नए युग की शुरूआत हुई।
उत्तर:
क्योंकि अक्षरों के कारण ही मनुष्य अपना हिसाब-किताब लिखकर रखने लगा। मानव को सभ्य भी तभी से कहा जाने लगा। आदमी के लिखना आरंभ करने से ही इतिहास आरंभ हुआ। आदमी के लिखे लेख मिलने से ही किसी कौम का इतिहास आरंभ होता है। इतिहास की शुरूआत अक्षरों के साथ ही हुई है। उससे पहले के काल को ‘प्रागैतिहासिक काल’ यानि इतिहास से पहले का काल कहते हैं।

प्रश्न 2.
अक्षरों की खोज का सिलसिला कब और कैसे शुरू हुआ ? पाठ पढ़कर उत्तर लिखो।
उत्तर:
अक्षरों की खोज का सिलसिला लगभग छह हजार वर्ष पूर्व शुरू हुआ। इससे पहले व्यक्ति चित्रों के द्वारा अपने भाव व्यक्त करता था। जैसे पशु-पक्षियों, आदमियों के चित्र । इन चित्र संकेतों से भाव संकेत अस्तित्व में आए। जैसे एक वृत्त के चारों ओर रेखाएँ खींचने पर वह सूर्य का चित्र बन जाता था। इसके बाद फिर अक्षर अस्तित्व में आए।

प्रश्न 3.
अक्षरों के ज्ञान से पूर्व मनुष्य अपनी बात को दूर-दराज के इलाकों तक पहुँचाने के लिए किन-किन माध्यमों का सहारा लेता था ?
उत्तर:
अक्षरों के ज्ञान से पूर्व मनुष्य अपनी बात को दूर-दराज़ तक पहुँचाने के लिए चित्रों के जरिए अपने भाव व्यक्त करता था। जैसे पशु, पक्षियों, व्यक्तियों के चित्र।

प्रश्न 4.
भाषा का विकास पहले हुआ, अक्षर और लिपि का बाद में।
बोली गई भाषा को अक्षरों की मदद से लिखा जा सकता है।
कई लोग ऐसे भी होते हैं जो अक्षर नहीं पहचानते, पर भाषा अच्छी तरह जानते हैं।
इन पंक्तियों को ध्यान में रखते हुए भाषा और अक्षर के संबंध के बारे में सोचो और एक अनुच्छेद लिखो।
उत्तर:
सबसे पहले मनुष्य ने बोलना सीखा फिर धीरे-धीरे उसकी भाषा का विकास हुआ। उसने सोचा कि इन विचारों को कैसे सुरक्षित रखा जाए जिससे भविष्य में आने वाली पीढ़ी का मार्ग दर्शन कर सकें। आवश्यकता आविष्कार की जननी होती है। मनुष्य ने अपनी इस आवश्यकता के कारण अक्षरों की शुरूआत की। ध्वनियों को स्थाई रूप प्रदान करने के लिए लिपि चिन्हों का निर्धारण किया। ये लिपि चिन्ह ही अक्षर कहलाए। पहले हमारे वेद और अन्य शास्त्रों का लिखित रूप नहीं था-सुन-सुनकर ही ये कंठस्थ किये जाते थे और एक पीढ़ी से दूसरी पीढ़ी तक पहुँचते थे। लिपि चिन्ह अर्थात् अक्षरों के ईज़ाद होने के बाद ही ये लिखित रूप में आए।

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 5 अक्षरों का महत्व

निबंध से आगे

प्रश्न 1.
अक्षरों के महत्त्व की तरह ध्वनि के महत्त्व के बारे में जितना जानते हो लिखो।
उत्तर:
अक्षरों का मौखिक रूप ध्वनि ही होता है। जब व्यक्ति किसी अक्षर का उच्चारण करता है तो हम उसके मुख से निकली ध्वनि से ही यह अनुमान लगाते हैं कि उसने क्या कहा। अक्षर भाषा की सबसे छोटी इकाई है। अक्षरों की ध्वनियाँ ही भाषा का मूल रूप है।

प्रश्न 2.
रेडियो की भाषा लिखित नहीं मौखिक है। मौखिक भाषा का जीवन में क्या महत्त्व है ? इसे शिक्षक को कक्षा में सुनाओ।
उत्तर:
मौखिक भाषा ही भाषा का मूल रूप है। एक छोटा बच्चा अपने माता-पिता भाई-बहिनों के मुख से मौखिक भाषा को ही सुनता है। वह इनका अनुकरण करता है। इस प्रकार वह भी बोलना सीख जाता है। इस रूप को स्वाभाविक रूप से सीखा जाता है।

प्रश्न 3.
हर वैज्ञानिक खोज के साथ किसी न किसी वैज्ञानिक का नाम जुड़ा होता है। लेकिन अक्षरों के साथ ऐसा नहीं है क्यों ? पता करो और शिक्षक को बताओ।
उत्तर:
अक्षर किसी एक व्यक्ति की खोज नहीं है। समय के साथ-साथ तथा अपनी सुविधाओं को देखते हुए लोगों ने अक्षरों की लिपि चिह्नों का निर्माण किया इसलिए इनके साथ किसी एक व्यक्ति का नाम नहीं जुड़ा।

प्रश्न 4.
एक भाषा को कई लिपियों में लिखा जा सकता है। उसी तरह कई भाषाओं को एक ही लिपि में लिखा जा सकता है। आगे कुछ शब्द दिए गए हैं, जैसे- भारत, गांधी, भाषा। इन्हें एक से अधिक लिपियों में लिखो।
उत्तर:
भारत – BHARAT
गांधी – GANDHI

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 5 अक्षरों का महत्व

अनुमान और कल्पना

प्रश्न 1.
पुराने जमाने में लोग यह क्यों सोचते होंगे कि अक्षरों की खोज ईश्वर ने की थी? अनुमान लगाओ और लिखो?
उत्तर:
पुस्तकों में बड़े-बड़े किस्से और ज्ञानवर्धक बातें लिखी होती हैं। अक्षरों की खोज कोई सामान्य बात नहीं है इसलिए लोग सोचते होंगे कि अक्षरों की खोज ईश्वर ने की होगी।

प्रश्न 2.
अक्षरों के महत्त्व के साथ ही मनुष्य के जीवन में गीत, नृत्य और खेलों का भी महत्त्व है। अपने मित्रों के साथ बातचीत कर इनके महत्त्व के बारे में जानकारी इकट्ठी करो और शिक्षक को सुनाओ।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

प्रश्न 3.
कल्पना करो कि यदि हमें अक्षरों का ज्ञान न होता तो क्या होता ? लिखो।
उत्तर:
यदि हमें अक्षरों का ज्ञान न होता तो हम अपने विचारों को न तो सही ढंग से प्रकट कर पाते और न ही उनको सुरक्षित रख पाते। आज दुनिया में पुस्तकों के रूप में जो ज्ञान का भण्डार है यह हमें उपलब्ध नहीं होता।

भाषा की बात

प्रश्न 1.
अनादि काल में रेखांकित शब्द का अर्थ है जिसकी कोई शुरूआत या आदि न हो। नीचे दिए गए शब्द भी मूल शब्द के शुरू में कुछ जोड़ने से बने हैं। इसे उपसर्ग कहते हैं। इन उपसर्गों को अलग करके लिखो और मूल शब्दों को लिखकर उनका अर्थ समझो-
असफल ………………….
अदृश्य ………………….
अनुचित ………………….
अनावश्यक ………………….
अपरिचित ………………….
अनिच्छा ………………….
(क) अब बताओ कि ये उपसर्ग जिन शब्दों के साथ जुड़ रहे हैं क्या उनमें कोई अंतर है ?
(ख) उपर्युक्त शब्दों से वाक्य बनाओ और समझो कि वे संज्ञा हैं या विशेषण।
उत्तर:
असफल = अ + सफल
अदृश्य = अ + दृश्य
अनुचित = अ + उचित
अनावश्यक = अन् + आवश्यक
अपरिचित = अ + परिचित
अनिच्छा = अन् + इच्छा

(क) शब्द के पूर्व में व्यंजन आने पर विलोम शब्द बनाने के लिए ‘अ’ उपसर्ग का प्रयोग किया गया है तथा शब्द के पूर्व स्वर आने पर विलोम शब्द बनाने के लिए ‘अन्’ उपसर्ग का प्रयोग किया गया है।

(ख) (i) परिश्रम न करने वाला असफल रहता है।
(ii) वह देखते ही देखते अदृश्य हो गया।
(ii) मुझे अनुचित कार्य बिल्कुल पसंद नहीं है।
(iv) तुम अनावश्यक रूप से विवाद को जन्म दे रहे हो।
(v) किसी अपरिचित से खाने की कोई वस्तु नहीं लेनी चाहिए।
(vi) मैंने यह कार्य अनिच्छा से किया है।
यहाँ ‘अपरिचित’ को छोड़कर सभी शब्द विशेषण हैं।

प्रश्न 2.
वैसे तो संख्याएँ संज्ञा होती हैं पर कभी-कभी ये विशेषण का काम भी करती हैं, जैसे नीचे लिखे वाक्य में-
हमारी धरती लगभग पाँच अरब साल पुरानी है।
कोई दस हजार साल पहले आदमी ने गाँवों को बसाना शुरू किया।
इन वाक्यों में रेखाकित अंश ‘साल’ संज्ञा के बारे में विशेष जानकारी दे रहे हैं, इसलिए संख्यावाचक विशेषण हैं। संख्यावाचक विशेषण का इस्तेमाल उन्हीं चीजों के लिए होता है जिन्हें गिना जा सके। जैसे, चार संतरे, पाँच बच्चे, तीन शहर आदि। पर यदि किसी चीज़ को गिना नहीं जा सकता तो उसके साथ संख्या वाले शब्दों के अलावा माप-तौल आदि के शब्दों का इस्तेमाल भी किया जाता है।

  • तीन जग पानी
  • एक किलो जीरा

यहाँ रेखांकित हिस्से परिमाणवाचक विशेषण हैं क्योंकि इनका संबंध माप-तौल से है। अब नीचे लिखे हुए को पढ़ो। खाली स्थानों में बॉक्स में दिए गए माप-तौल के उचित शब्द छाँटकर लिखो।
प्याला, कटोरी, एकड़, मीटर, लीटर, किलो, ट्रक, चम्मच

तीन कटोरी खीर,
दो एकड़ ज़मीन,
छह मीटर कपड़ा,
एक ट्रक रेत,
दो प्याला कॉफी,
पाँच किलो बाजरा
एक किलो दूध,
तीन लीटर तेल

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 5 अक्षरों का महत्व

कुछ करने को

प्रश्न 1.
अपनी लिपि के कुछ अक्षरों के बारे में जानकारी इकट्ठी करो।
(क) जो अब प्रयोग में नहीं रहे।
(ख) प्रचलित नए अक्षर जो अब प्रयोग में आ गए हैं।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

प्रश्न 2.
लिखित और मौखिक भाषा के हानि-लाभ के बारे में अपने दोस्तों के बीच चर्चा करो।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

प्रश्न 3.
अक्षर और कंप्यूटर के संबंधों के बारे में जानकारी प्राप्त करो और इसे शिक्षक को सुनाओ।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

प्रश्न 4.
अक्षर ध्वनियों (स्वरों और व्यंजनों) का प्रतीक होते हैं। उदाहरण के लिए ‘हिंदी’, ‘उर्दू’ और ‘बंगला’ आदि शब्दों में प्रत्येक अक्षर के लिए उसकी ध्वनि निर्धारित है। कुछ चित्रों से भी संकेत व्यक्त होते हैं। नीचे कुछ चित्र दिए गए हैं। उससे क्या संकेत व्यक्त होते हैं, बताओ-
NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 5 अक्षरों का महत्व 1
उत्तर:
पहला चिह्न दाएँ मुड़ना है।
दूसरा चिह्न बाएँ मुड़ना है।
तीसरा चिह्न आगे स्कूल है।
चौथा चिह्न आगे गोल चक्कर है।

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महत्त्वपूर्ण गद्यांशों की सप्रसंग व्याख्या

1. प्रागैतिहासिक …………………. में आए।

प्रसंग- प्रस्तुत गद्यांश हमारी पाठ्य पुस्तक ‘वसंत’ में से अवतरित है। इसके लेखक ‘गुणाकर मुले’ जी हैं। लेखक ने यहाँ अक्षरों से पहले मनुष्य किस प्रकार अपने भावों को व्यक्त करता था, बताया है।

व्याख्या- लेखक कहता है कि जब इतिहास नहीं लिखा जाता था उस समय मनुष्य अनेक प्रकार के चित्रों को चित्रित करके अपने भावों को व्यक्त करता था। इन चित्रों में विशेषतौर पर पशु-पक्षियों और व्यक्तियों के चित्र होते थे। इन चित्रों के बाद ही भाव संकेतों का आरंभ हुआ। मनुष्य विभिन्न प्रकार के भाव-संकेतों से अपने भावों को व्यक्त करने लगा। जैसे एक वृत्त बनाकर उसके चारों ओर किरणों का बोध कराने के लिए रेखाएँ खींच दी जाती थीं। इस प्रकार की रेखाओं वाला यह वृत्त सूर्य का चित्र बन गया। यह चित्र ही धूप एवं गर्मी को दर्शाने के लिए प्रयोग में आने लगा। इसके बाद और अनेक भाव संकेत अस्तित्व में आते रहे।

2. अक्षरों की ……………………. कहते हैं।

प्रसंग- प्रस्तुत गद्यांश हमारी पाठ्य-पुस्तक ‘वसंत’ में संकलित पाठ ‘अक्षरों का महत्त्व’ से अवतरित है। इस गद्यांश में लेखक ‘गुणाकर मुले’ ने अक्षरों की खोज के बाद आए बदलाव का वर्णन किया है।

व्याख्या- लेखक कहता है कि अक्षरों की खोज के बाद एक नए युग की शुरूआत हुई। इसके बाद ही मनुष्य अपने विचारों एवं हिसाब-किताब को सुरक्षित रखने लगा। अक्षरों के आ जाने से मनुष्य के विचारों का आदान-प्रदान सरल हो गया। तब से ही मानव को सभ्यमानव कहा जाने लगा। मनुष्य सभी बातों को लिखकर सुरक्षित रखने लगा इसलिए तब से ही इतिहास शुरू होता है। अक्षरों की खोज होने से पहले का कोई इतिहास मालूम नहीं है। किसी भी जाति या देश का इतिहास तभी से आरंभ माना जाता है जब से उनका इतिहास लिखित रूप में मिलता है। मनुष्य का लिखित इतिहास छह हजार वर्षों से है। उससे पहले का मनुष्य या किसी सभ्यता का कोई इतिहास उपलब्ध नहीं है। जो कुछ पहले के बारे में कहते हैं वह केवल अनुमान पर ही आधारित है। इतिहास से पहले के काल को ‘प्रागैतिहासिक काल’ यानि इतिहास से पहले का काल कहते हैं।

3. अक्षरों की …………………… है भी।

प्रसंग- प्रस्तुत गद्यांश हमारी पाठ्य पुस्तक ‘वसंत’ में संकलित पाठ ‘अक्षरों का महत्त्व’ से लिया गया है। इस पाठ के लेखक ‘गुणाकर मुले’ जी हैं। लेखक ने यहाँ अक्षरों एवं उनसे बनी लिपि के महत्त्व के बारें में बताया है।

व्याख्या- अक्षरों की खोज होने के बाद मानव सभ्यता के विकास में गति आ गई। अक्षरों की खोज ने मनुष्य को मनुष्य के काफी करीब ला दिया। वह अपने विचारों को लिखकर रखने लगा। अब उसके विचारों से दूसरे लोग भी लाभान्वित होने लगे। एक पीढ़ी द्वारा संचित ज्ञान दूसरी पीढ़ी के काम आने लगा। अक्षरों की खोज के बाद मानव जाति का विकास बहुत ही तीव्र गति से होने लगा। आज हम जो कुछ भी देख रहे हैं वह सब अक्षरों की खोज का ही परिणाम है।

अक्षरों और उनसे बनी हुई लिपियों के कारण क्रांतिकारी परिवर्तन हो गए। हम सबको अक्षरों की कहानी मालूम होनी चाहिए। अक्षर हमारे जीवन के लिए बहुत ही महत्त्वपूर्ण हैं। आज हम जो कुछ पढ़ते हैं या लिखते हैं ये सभी अक्षर कब, कहाँ और किसने बनाए यह सब हमको मालूम होना ही चाहिए। अक्षर मानव सभ्यता के विकास का मूल है।

अक्षरों के महत्त्व

प्रश्न 1.
बड़े-बुजुर्गों से पता कीजिए कि जो अक्षर उनके समय में इस्तेमाल होते थे ‘उनमें से कौन से गायब हो गए हैं और कौन से नए आ गए हैं?
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

प्रश्न 2.
कम्प्यूटर पर अलग-अलग आकार में अक्षरों को देखें फिर अपनी लिखी किसी भी पसंदीदा कहानी, लेख, कविता के हिस्से को अलग-अलग आकार में सजाकर प्रिंट करें।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

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अक्षरों का महत्व Summary

कविता का सार

पुस्तकें हमारे लिए बहुत उपयोगी हैं। इनका हमारे जीवन में विशेष महत्त्व है। लेकिन सभी प्रकार की पुस्तकों का निर्माण अक्षरों से हुआ है। संसार में अब तक करोड़ों की संख्या में पुस्तकें छप चुकी हैं और हजारों पुस्तकें रोज छपती हैं। हजारों की संख्या में प्रतिदिन समाचार पत्र एवं पत्रिकाएं छपती रहती हैं। इन सबके मूल में है अक्षर! हम कल्पना नहीं कर सकते कि यदि मानव को अक्षर ज्ञान न होता तो इस दुनिया का क्या हाल होता? कुछ लोगों का कहना है कि अक्षरों को हम अनादि काल से जानते हैं। कुछ कहते हैं कि अक्षरों का ज्ञान हमें ईश्वर से मिला है।

पुराने समय के लोग सोचते थे कि अक्षरों की खोज ईश्वर ने की है। लेकिन आज हम जानते हैं अक्षरों की खोज ईश्वर ने नहीं, बल्कि आदमी ने स्वयं की है। लेकिन अब तो हम यह भी जानते हैं किन-किन अक्षरों की खोज किस देश में, किस समय हुई।

हमारी पृथ्वी लगभग पाँच अरब साल पुरानी है। दो तीन अरब साल तक पृथ्वी पर किसी प्रकार के जीव-जन्तु नहीं थे। फिर करोड़ों साल तक जानवरों और वनस्पतियों का ही इस धरती पर राज रहा होगा। पाँच लाख साल पहले ही इस धरती पर मानव ने जन्म लिया, फिर धीरे-धीरे उसका विकास हुआ। कोई दस हजार साल पहले आदमी ने गाँव को बसाना शुरू किया। फिर वह धीरे-धीरे खेती करने लगा। वह पत्थरों के औजार बनाकर उनका प्रयोग करने लगा। उसने तांबे और कांसे के औज़ार भी बनाए।

प्रागैतिहासिक काल का मानव पहले अपने भाव, विचार चित्रों के माध्यम से व्यक्त करता था। एक छोटे वृत्त के चारों ओर रेखाएँ खींचने पर सूर्य का चित्र बनने से उन्हें सूर्य ज्ञान हुआ। इस तरह के अनेक भाव संकेत अस्तित्व में नज़र आए। इसके बाद आदमी ने अक्षरों की खोज की। अक्षरों की खोज हुए छह हजार साल हुए हैं। अक्षरों की खोज के साथ एक नए युग की शुरूआत हुई। अपने-अपने हिसाब को लिखकर रखने लगा। तब से मानव को सभ्य कहा जाने लगा। जब मानव ने लिखना प्रारम्भ किया तभी से इतिहास का प्रारम्भ हुआ। इससे पहले के काल को “प्रागैतिहासिक काल” यानी इतिहास से पहले का काल कहते हैं। अगर व्यक्ति अक्षरों की खोज नहीं करता तो आज हम इतिहास को न जान पाते और हम यह भी न जान पाते कि हजारों साल तक आदमी ने अपना जीवन कैसे व्यतीत किया। वह क्या-क्या सोचता था उसने क्या-क्या कार्य किये। अक्षरों की खोज मनुष्य की सबसे बड़ी उपलब्धि है। वह अपने विचारों को लिखकर रखने लगा। इस प्रकार एक पीढ़ी के ज्ञान का प्रयोग दूसरी पीढ़ी करने लगी। अक्षरों की खोज के बाद मानव जाति का तेजी से विकास हुआ।

आज हम जिन अक्षरों को पढ़ते या लिखते हैं हमें उनकी कहानी मालूम होनी चाहिए कि वे कब, कहाँ और किसके द्वारा बनाए गए, यह जानना बहुत जरूरी है।

शब्दार्थ:
पुस्तक – किताब, अक्षर – अपरिवर्तनशील, नित्य, दुनिया – संसार, कल्पना – मन की उपज, नयी बात सोचना, धरती – पृथ्वी, खोज – तलाश, अन्वेषण, लिपि – लिखने की क्रिया, लघुतम ध्वनि का सूचक अक्षर, देवनागरी – भारत की प्रसिद्ध राष्ट्रीय लिपि, संग्रहालय – म्यूजियम, संग्रह भवन, विकास – खिलना, व्यक्त करना, आक्रमण – हमला करना, चढ़ाई करना

Chapterwise Hindi NCERT Solutions Class 6

NCERT Solutions for Class 6 Maths

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NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 4 चाँद से थोड़ी-सी गप्पें

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चाँद से थोड़ी-सी गप्पें NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 4

Class 6 Hindi Chapter 4 चाँद से थोड़ी-सी गप्पें Textbook Questions and Answers

अभ्यास प्रश्न

प्रश्न 1.
कविता में ‘पहने हुए हैं आप कुल आकाश’ कहकर लड़की क्या कहना चाहती है ?
उत्तर:
लड़की यह कहना चाहती है कि सारा आकाश तुम्हारे चारों ओर है ऐसा लगता है जैसे यह सम्पूर्ण आकाश ही तुम्हारे वस्त्र हैं।

प्रश्न 2.
‘हमको बुद्धू ही निरा समझा है।’ कहकर लड़की क्या कहना चाहती है?
उत्तर:
लड़की कहना चाहती है कि आपको घटने और फिर बढ़ने की बीमारी है। हम तुम्हारी इस बीमारी को जानते हैं इसलिए हमको निरा बुद्धू मत समझो।

प्रश्न 3.
आशय बताओ
‘यह मरज़ आपका अच्छा ही नहीं होने में आता है।’
उत्तर:
आशय : चाँद पन्द्रह दिन अमावस्या के अगले दिन से लेकर पूर्णिमा तक बड़ा होता है। पूर्णिमा के अगले दिन से अमावस्या तक फिर वह छोटा होता चला जाता है। चाँद का यह क्रम निरंतर चलता रहता है।

प्रश्न 4.
कवि ने चाँद से ये गप्पें किस दिन लगाई होंगी ? इस कविता में आई बातों की मदद से अनुमान लगाएँ।
दिन / कारण
पूर्णिमा / ………………………
अष्टमी से पूर्णिमा के बीच / ………………………
प्रथमा से अष्टमी के बीच / ………………………
उत्तर:
कवि ने चाँद से बातें प्रथमा से अष्टमी के बीच की होंगी क्योंकि इसमें चंद्रमा के अधिक से अधिक घटने एवं पूरा गोल होने का वर्णन है।

प्रश्न 5.
नई कविता में तुक या छंद का प्रयोग प्रायः नहीं होता, लेकिन बिंब से आशय उस तस्वीर से है जो शब्दों को पढ़ते समय हमारे मन में उभरती है। कई बार नए कवि शब्दों की ध्वनि की मदद से ऐसी तस्वीर बनाते हैं, और कुछ कवि अक्षरों या शब्दों को इस तरह छापने पर बल देते हैं कि उनसे कई चित्र हमारे मन में बनें। इस कविता के अन्तिम हिस्से में चाँद को एकदम गोल बताने के लिए कवि ने “बिलकुल” शब्द के अक्षरों को अलग-अलग करके लिखा है। तुम इस कविता के किन और शब्दों को चित्र की आकृति देना चाहोगे/चाहोगी? ऐसे शब्दों को अपने ढंग से लिखकर दिखाओ।
उत्तर:
जरा – ज़ रा
कुल – कु ल
यानी – या नी

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अनुमान और कल्पना

प्रश्न 1.
कुछ लोग बड़ी जल्दी चिढ़ जाते हैं, यदि चाँद का स्वभाव भी आसानी से चिढ़ जाने का हो तो वह किन बातों से सबसे ज्यादा चिढ़ेगा?
उत्तर:
यदि चाँद आसानी से चिढ़ने लगे तो वह अपने घटते-बढ़ते रूप से चिढ़ेगा या चाँद पर जो धब्बे दिखाई देते हैं उनसे चिढ़ेगा और यदि कोई उसे लाल टमाटर जैसा कहेगा इससे भी वह चिढ़ सकता है।

प्रश्न 2.
चिढ़ कर वह उन बातों का क्या जवाब देगा? अपनी कल्पना से चाँद की ओर से दिए गए जवाब लिखो।
उत्तर:
चिढ़ कर चाँद कहेगा मेरा रूप तुमसे अच्छा है। मैं अपने रूप को निरंतर परिवर्तित करने की शक्ति रखता हूँ। मैं टमाटर की तरह लाल हूँ यह लाली मेरे स्वास्थ्य की निशानी है।

प्रश्न 3.
यदि कोई सूरज से गप्पें लगाए तो वह क्या लिखेगा? अपनी कल्पना से गद्य या पद्य में लिखें। इसी तरह की कुछ और गप्पें इनमें से किसी एक या दो से बातें करके लिखें:
(क) पेड़, (ख) बिजली का खंभा, (ग) सड़क, (घ) पैट्रोल पंप
उत्तर:
हे सूरज! तुम इतने गर्म क्यों हो ?
तुम्हारी गर्मी, सर्दी में तो अच्छी लगती है,
पर गर्मी में बिल्कुल नहीं।
सर्दी में आप बहुत सुहावने लगते हो,
गर्मी में तुम आग के गोले लगते हो,
तुम्हारी तरफ हम देख भी नहीं सकते,
केवल सुबह शाम को छोड़कर,
क्या तुम गुस्से में रहते हो।
यदि हाँ तो तुम्हें गुस्सा क्यों आता है?

(क) पेड़
हे पेड़ तुम कितने महान हो,
तुम सबको छाया देते हो,
फल देते हो,
परन्तु कभी-कभी तुम्हारे फल तोड़ना मुश्किल हो जाता है।
तुम थोड़ा नीचे होते तो कितना अच्छा होता,
फिर भी तुम अच्छे लगते हो।
तुम पर्यावरण को शुद्ध करते हो,
तुम महान हो।

(ख) बिजली का खंभा
हे बिजली के खंभे!
तुम इतने क्यों तने हो
क्या तुम्हें झुकना नहीं आता।
वैसे तो तुम घर-घर में बिजली पहुँचाते हो
परन्तु तुम्हारी सदा चुपचाप रहने की
आदत अच्छी नहीं लगती।

(ग) सड़क
हे सड़क! तुम कितनी सहनशील हो?
तुममें इतनी शक्ति कहाँ से आई है,
तुम सदा अपने ऊपर से बड़े-बड़े वाहनों को जाने देती हो,
क्या तुम्हें पीड़ा नहीं होती?
तुम इतना कैसे सहती हो?
तुममें इतनी सहनशीलता कहाँ से आई है?

(ग) पैट्रोल पंप
हे पैट्रोल पंप! तुम्हारे अंदर कितना तेल समाया है?
यह कभी खत्म होने का नाम ही नहीं लेता।
तेरे कारण सारी दुनिया सड़कों पर दौड़ रही है।
वायुयान और ट्रेन भी तुम्हारे कारण दौड़ लगाते हैं।
तुममें यह शक्ति कहाँ से आई ?
तुम हमारे लिए बहुत उपयोगी हो।

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भाषा की बात

प्रश्न 1.
चाँद संज्ञा है। चाँदनी विशेषण है।
नीचे दिए गए विशेषणों को ध्यान से देखो और बताओ कि कौन-सा प्रत्यय जुड़ने पर विशेषण बन रहे हैं। इन विशेषणों के लिए एक-एक उपयुक्त संज्ञा भी लिखो-
गुलाबी पगड़ी / मखमली घास / कीमती गहने
ठंडी रात / जंगली फूल / कश्मीरी भाषा
उत्तर:
ये सभी विशेषण ‘ई’ प्रत्यय जुड़ने से बने हैं।
गुलाबी साड़ी / मखमली घास / कीमती पुस्तक
ठंडी खीर / जंगली जानवर / कश्मीरी कन्या

प्रश्न 2.
गोल-मटोल, गोरा-चिट्टा
कविता में आए शब्दों के इन जोड़ों में अंतर यह है कि चिट्टा का अर्थ सफेद है और गोरा से मिलता-जुलता है जबकि मटोल अपने आप में कोई शब्द नहीं है। यह शब्द ‘मोटा’ से बना है। ऐसे चार-चार शब्द युग्म सोचकर लिखो और उनका वाक्यों में प्रयोग करो।
उत्तर:
खाना – वाना
चाय – वाय
घर – वर
शराब – वराब
खाना-वाना – खाना-वाना तो अच्छा ही बना है।
चाय-वाय – यहाँ चाय-वाय का भी कुछ प्रबंध है या नहीं।
घर-वर – क्या आज घर-वर जाने का इरादा नहीं है।
शराब-वराब – मैं तो शराब-वराब को हाथ भी लगाना पसंद नहीं करता।

प्रश्न 3.
‘बिलकुल गोल’ – कविता में इसके दो अर्थ हैं-
(क) गोल आकार का
(ख) गायब होना!
ऐसे तीन शब्द सोचकर उनसे ऐसे वाक्य बनाओ कि शब्दों के दो-दो अर्थ निकलते हों।
उत्तर:
अंक- नंदन का जनवरी का अंक बहुत अच्छा था।
माता ने पुत्र को अंक में भर लिया।

कृष्ण- कृष्ण की गोपियाँ दीवानी थीं।
कौआ कृष्ण वर्ण का होता है।

पत्र- वसन्त में वृक्षों से पत्र झरने लगते हैं।
आज माता जी का पत्र आया था।

प्रश्न 4.
जोकि, चूँकि, हालाँकि-कविता की जिन पंक्तियों में ये शब्द आए हैं, उन्हें ध्यान से पढ़ो। ये शब्द दो वाक्यों को जोड़ने का काम करते हैं। इन शब्दों का प्रयोग करते हुए दो-दो वाक्य बनाओ।
उत्तर:
यह वह छात्र है जो कि हर वर्ष प्रथम आता है।
यह वह पुस्तक है जो कि मुझे कक्षा में प्रथम आने पर मिली थी।
तुम्हें सजा इसलिए मिली चूंकि तुम झूठ बोलते हो।
उसने शत्रुओं को इसलिए खदेड़ दिया चूंकि वंह बहादुर है।
लोग नहीं मानते हालाँकि तुम ठीक कहते हो।
दिल्ली में प्रदूषण अब भी बहुत है हालाँकि कमी भी काफी आई है।

प्रश्न 5.
गप्प, गप-शप, गप्पबाज़ी-क्या इन शब्दों के अर्थ में अंतर है ? तुम्हें क्या लगता है ? लिखो।
उत्तर:
इन शब्दों के अर्थों में थोड़ा-थोड़ा अंतर है।
गप्प-एक दम झूठ-उसकी बातें सभी गप्प होती हैं।
गप-शप-मनोरंजन के लिए खुलकर बातचीत करना-उनकी बातें खत्म ही नहीं होतीं वे दोनों सदा गप-शप करते रहते हैं।
गप्पबाजी-कथा किस्से सुनाना-मोहन को गप्पबाजी अच्छी लगती है।

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कुछ करने को

प्रश्न 1.
क्या तुम जानते हो दुनिया भर में कई प्रकार के कैलेंडरों का इस्तेमाल होता है।
नीचे दो प्रकार के कैलेंडर दिए गए हैं। इन्हें देखो और प्रश्नों के उत्तर दो।
संवत् 2063, सन् 2006
(क) इन कैलेंडरों में से कौन-सा कैलेंडर चंद्रमा के अनुसार है ?
(ख) क्या तुम्हारे आसपास इन दोनों कैलेंडरों का इस्तेमाल होता है ? यदि होता है तो किन-किन मौकों पर ?
(ग) कृष्ण पक्ष और शुक्ल पक्ष का क्या अर्थ होता है ?
उत्तर:
(क) इन कैलेंडरों में संवत् 2063 वाला कैलेंडर चंद्रमा के अनुसार है।
(ख) हाँ, हमारे आसपास दोनों कैलेंडरों का इस्तेमाल होता है। संवत् वाले कैलेंडर का इस्तेमाल चन्द्रमा की तिथि देखने के लिए होता है तथा सन् वाले कैलेंडर का इस्तेमाल अंग्रेजी महीने की तारीख देखने के लिए होता है।
(ग) कृष्ण पक्ष का अर्थ है महीने का वह पक्ष (पन्द्रह दिन) जो पूर्णिमा के अगले दिन से लेकर अमावस्या तक होता है तथा शुक्ल पक्ष अमावस्या के अगले दिन यानि प्रतिपदा से लेकर पूर्णिमा तक होता है।

प्रश्न 2.
चाँद से संबंधित कुछ कविताओं के बारे में जानकारी इकट्ठी करो और उसे कक्षा में शिक्षक को सुनाओ।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

काव्यांशों की सप्रसंग व्याख्या

1. गोल हैं …………………………… जाने कैसे।

शब्दार्थ: नज़र – दृष्टि, निगाह, ज़रा – थोड़े, कुल – सम्पूर्ण/सारा, सिम्त – तरफ, दिशा

प्रसंग- प्रस्तुत काव्यांश हमारी पाठ्य-पुस्तक भारती भाग-1 में संकलित कविता ‘चाँद से थोड़ी-सी गप्पें’ से लिया गया है जिसके कवि ‘शमशेर बहादुर सिंह’ जी हैं। कवि ने यहाँ चन्द्रमा के गोल-मटोल रूप का वर्णन किया है।

व्याख्या- हे चन्द्रमा जब भी मैं तुम्हें देखती हूँ तुम तभी कुछ तिरछे-तिरछे नज़र आते हो। तुम्हारे चारों तरफ फैला यह आकाश ऐसा लगता है जैसे तुमने इसको वस्त्र के रूप में धारण किया हो। तुम्हारी इस पोशाक में तारे जड़े हुए हैं। आकाश के बीच तुम ऐसे नज़र आते हो जैसे तुमने अपना गोरा-चिट्टा मुँह खोल रखा है और यह आकाश ऐसा लगता है जैसे चारों ओर फैली हुई तुम्हारी पोशाक हो।

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2. खूब हैं ……………………… होने में….

शब्दार्थ: निरा – बिल्कुल, दम – साँस/आराम, मरज़ – रोग

प्रसंग- प्रस्तुत काव्यांश हमारी पाठ्य-पुस्तक भारती भाग-1 में संकलित कविता ‘चाँद से थोड़ी-सी गप्पें’ से लिया गया है। जिसके कवि ‘शमशेर बहादुर सिंह’ जी हैं। कवि ने एक बालिका के माध्यम से चाँद के घटने-बढ़ने पर प्रकाश डाला है।

व्याख्या- वह लड़की कहती है कि हे चाँद क्या तुमने हमको बिल्कुल बद्ध ही समझ रखा है। हम जानते हैं कि आपको कोई बीमारी है, आप जब घटते हैं तो निरंतर घटते ही चले जाते हैं और जब बढ़ते हैं तो निरंतर बढ़ते ही चले जाते हैं। तुम तब तक आराम नहीं करते जब तक पूरी तरह से गोल न हो जाओ। आपको तो ऐसा रोग है जो कभी-भी ठीक होने का नाम ही नहीं लेता।

चाँद से थोड़ी-सी गप्पें Summary

कविता का सार

एक लड़की चाँद से कहती है कि आप तिरछे नज़र आते हो। आपने तारों जड़ा हुआ आकाश पहन रखा है। आप अपना गोल-मटोल मुँह खोले हुए हो। तुम्हारे वस्त्र चारों ओर फैले हुए हैं। आपने हमको निरा बुद्ध ही समझ रखा है। हम आपकी बीमारी को समझते हैं आपमें घटने-बढ़ने का रोग है जो ठीक होने में आता ही नहीं।

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NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 3 नादान दोस्त

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नादान दोस्त NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 3

Class 6 Hindi Chapter 3 नादान दोस्त Textbook Questions and Answers

प्रश्न 1.
केशव और श्यामा के मन में अंडों को देखकर तरह-तरह के सवाल क्यों उठते थे?
उत्तर:
बालमन जिज्ञासाओं से भरा होता है। उन्होंने पहले कभी अंडे नहीं देखे थे। उनके घरवालों ने भी उनको अंडों के बारे में कोई जानकारी नहीं दी थी। उनको पता नहीं था कि अंडों का आकार कितना बड़ा होता है? वे किस रंग के होते हैं? वे कितने हैं व वे क्या खाते होंगे। बच्चों के मन में इस तरह के सवाल स्वाभाविक ही थे।

प्रश्न 2.
अंडों के बारे में दोनों आपस में ही सवाल-जवाब करके अपने दिल को तसल्ली क्यों दे दिया करते थे?
उत्तर:
केशव और श्यामा दोनों बच्चों को माता-पिता से अपने सवालों का जवाब नहीं मिल पाता था क्योंकि उनकी अम्मा सारा दिन घर के काम काज में लगी रहती थी और पिताजी को दफ्तर के कामों से ही फुरसत नहीं थी ।

प्रश्न 3.
अंडों के टूट जाने के बाद माँ के यह पूछने पर कि-‘तुम लोगों ने अंडों को छुआ होगा।’ के जवाब में श्यामा ने क्या कहा और उसने ऐसा क्यों किया?
उत्तर:
अम्मा की यह बात सुनकर श्यामा को अपने भइया केशव पर जरा भी तरस नहीं आया। उसने कहा कि केशव ने ही अंडों को इस तरह रखा था जिससे वे गिर पड़े। इसकी उसे सजा मिलनी चाहिए।

प्रश्न 4.
पाठ के आधार पर बताइए कि अंडे गंदे क्यों हुए और उन अंडों का क्या हुआ?
उत्तर:
अंडे छूने से गंदे हो गए। चिड़िया छुए हुए अंडों को नहीं सेती। चिड़िया ने ही दुःखी होकर अंडों को नीचे गिरा दिया।

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प्रश्न 5.
सही उत्तर क्या है?
अंडों की देखभाल के लिए केशव और श्यामा धीरे से बाहर निकले क्योंकि-
(क) वे माँ की नींद नहीं तोड़ना चाहते थे।
(ख) माँ नहीं चाहती थी कि वे चिड़ियों की देखभाल करें।
(ग) माँ नहीं चाहती थी कि वे बाहर धूप में घूमें।
उत्तर:
(ग) माँ नहीं चाहती थी कि वे बाहर धूप में घूमें।

प्रश्न 6.
केशव और श्यामा ने चिड़िया और अंडों की देखभाल के लिए किन तीन बातों का ध्यान रखा?
उत्तर:
केशव और श्यामा ने अंडों की देखभाल के लिए निम्नलिखित तीन बातों का ध्यान रखा-

  1. धूप से बचने के लिए कपड़े की छत बना दी जाए
  2. पानी की प्याली रख दी जाए
  3. खाने के लिए थोड़े से चावल रख दिए जाएँ

प्रश्न 7.
कार्निस पर अंडों को देखकर केशव और श्यामा के मन में जो कल्पनाएँ आईं और उन्होंने चोरी-चुपके जो कुछ कार्य किए, क्या वे उचित थे? तर्क सहित उत्तर लिखो।
उत्तर:
बच्चों के मन में इस तरह की कल्पनाएँ उठना तो स्वाभाविक था। बच्चों का हृदय बड़ा कोमल होता है वे किसी के कष्ट को अपने कष्ट की तरह देखते हैं। इसलिए उन्होंने जो किया भले के लिए किया परन्तु उन्हें क्या पता था कि यदि कोई अंडों को छू लेगा तो चिड़िया उन अंडों को नहीं सेएगी। यदि उनको ऐसा बता दिया जाता तो वे कभी भी ऐसा न करते। वे अपनी जगह सही थे। उनसे जो गलती हुई अज्ञानता के कारण ही हुई।

प्रश्न 8.
पाठ से मालूम करो कि माँ को हँसी क्यों आई? तुम्हारी समझ में माँ को क्या करना चाहिए था?
उत्तर:
केशव की रोनी सूरत देखकर और केशव के यह कहने पर कि मैंने तो सिर्फ अंडों को गद्दी पर रखा था अम्मा जी! माँ यह सुनकर हँस पड़ी। माँ को इस प्रकार हँसना नहीं चाहिए था उनको समझाना चाहिए था कि कभी भी इस प्रकार का कार्य नहीं करना।

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कहानी से आगे

प्रश्न 1.
पाठ में चिड़ियों की चर्चा है। तुम पेड़-पौधों और अन्य जीव-जंतुओं के बारे में जानकारी इकट्ठी करो। तुम्हारे आसपास जो मौजूद हों उनके साथ तुम्हें क्या करना चाहिए और क्या नहीं करना चाहिए, इसे लिखो।
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

प्रश्न 2.
केशव और श्यामा ने अंडों के बारे में क्या-क्या अनुमान लगाए? यदि उस जगह तुम होते तो क्या अनुमान लगाते और क्या करते?
उत्तर:
केशव और श्यामा ने अंडों के बारे में अनुमान लगाया कि उनमें से अब बच्चे निकल गए होंगे। पहले उन्होंने सोचा कि वे कैसे होंगे? कितने बड़े होंगे? कितने होंगे? हम भी यह ही अनुमान लगाते और हम भी उनकी हिफाजत करने की सोचते।

प्रश्न 3.
माँ के सोते ही केशव और श्यामा दोपहर में बाहर क्यों निकल आए? माँ के पूछने पर भी दोनों में से किसी ने किवाड़ खोलकर दोपहर में बाहर निकलने का कारण क्यों नहीं बताया?
उत्तर:
क्योंकि वे जानते थे कि वे जो कार्य कर रहे हैं घर के सदस्यों से छिपकर कर रहे हैं। उधर अम्मा ने उनको बाहर धूप में निकलने से मना किया था। डाँट पड़ने के डर से उन्होंने बाहर निकलने का कारण नहीं बताया।

प्रश्न 4.
प्रेमचंद ने इस कहानी का नाम ‘नादान दोस्त’ रखा है। तुम इसे क्या शीर्षक देना चाहोगे?
उत्तर:
इसका अन्य शीर्षक हो सकता है ‘अबोध मन’ ।

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अनुमान और कल्पना

प्रश्न 1.
इस पाठ में गर्मी के दिनों की चर्चा है। अगर सर्दी या बरसात के दिन होते तो क्या-क्या होता? अनुमान करो और अपने साथियों को सुनाओ।
उत्तर:
यदि सर्दी होती तो अम्मा कहती बाहर मत जाना सर्दी लग जाएगी। बरसात होती तो अम्मा भीग जाने के डर के कारण बाहर जाने से रोकती।

प्रश्न 2.
पाठ पढ़कर मालूम करो कि दोनों चिड़िया वहाँ फिर क्यों न दिखाई दीं? वे कहाँ गई होंगी? इस पर अपने दोस्तों के साथ मिलकर बातचीत करो।
उत्तर:
दोनों चिड़िया वहाँ फिर इसलिए नहीं आईं क्योंकि वहाँ उनके अंडे सुरक्षित नहीं थे तो वे ही कैसे सुरक्षित रह सकती थीं।

प्रश्न 3.
अनजाने में हुई गलती पर केशव को कई दिनों तक अफसोस होता रहा। दोबारा उससे कोई ऐसी गलती न हो इसके लिए तुम उसे क्या सुझाव दे सकते हो, इसे लिखो।
उत्तर:
केशव से ऐसी गलती दोबारा न हो इसके लिए हम उसे सुझाव देंगे कि किसी भी कार्य को करने से पहले माता-पिता या घर के किसी बड़े व्यक्ति से उसके बारे में जानकारी ले लेनी चाहिए।

प्रश्न 4.
केशव और श्यामा चिड़िया के अंडों को लेकर बहुत उत्सुक थे। क्या तुम्हें भी किसी नई चीज़, जगह या बात पर कौतूहल महसूस हुआ है? ऐसे किसी अनुभव का वर्णन करो और बताओ कि ऐसे में तुम्हारे मन में क्या-क्या सवाल उठे?
उत्तर:
छात्र स्वयं करें।

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भाषा की बात

प्रश्न 1.
श्यामा माँ से बोली मैंने आपकी बातचीत सुन ली है।
ऊपर दिए उदाहरण में मैंने का प्रयोग ‘श्यामा’ के लिए और आपकी का प्रयोग ‘माँ’ के लिए हो रहा है। जब सर्वनाम का प्रयोग कहने वाले, सुनने वाले या किसी तीसरे के लिए हो, तो उसे पुरुषवाचक सर्वनाम कहते हैं। नीचे दिए गए वाक्यों में तीनों प्रकार के पुरुषवाचक सर्वनामों के नीचे रेखा खींचो-
एक दिन दीपू और नीलू यमुना तट पर बैठे शाम की ठंडी हवा का आनंद ले रहे थे। तभी उन्होंने देखा कि एक लंबा आदमी लड़खड़ाता हुआ उनकी ओर चला आ रहा है। पास आकर उसने बड़े दयनीय स्वर में कहा, “मैं भूख से मरा जा रहा हूँ। क्या आप मुझे कुछ खाने को दे सकते हैं?”
उत्तर:
नोट-वाक्यों को दोबारा लिखकर रेखांकित कर दें।

प्रश्न 2.
तगड़े बच्चे मसालेदार सब्ज़ी बड़ा अंडा
इसमें रेखांकित शब्द क्रमशः बच्चे, सब्जी और अंडा की विशेषता यानी गुण बता रहे हैं इसलिए ऐसे विशेषणों को गुणवाचक विशेषण कहते हैं। इसमें व्यक्ति या वस्तु के अच्छे-बुरे हर तरह के गुण आते हैं। तुम चार गुणवाचक विशेषण लिखो और उनसे वाक्य बनाओ।
उत्तर:
1. लम्बा, 2. बुरा, 3. पीला ।

  1. लम्बा व्यक्ति दूर से ही पहचाना जाता है।
  2. मोहन एक बुरा व्यक्ति है।
  3. पीला आम मीठा लगता है।

प्रश्न 3.
नीचे कुछ प्रश्नवाचक वाक्य दिए गए हैं, उन्हें बिना प्रश्नवाचक वाक्य के रूप में बदलो-
अंडे कितने बड़े होंगे.? किस रंग के होंगे? कितने होंगे? क्या खाते होंगे? उनमें से बच्चे किस तरह निकल आएँगे? बच्चों के पर कैसे निकलेंगे? घौंसला कैसा है?
उत्तर:
वाह! अंडे कितने बड़े हैं। पता नहीं अंडे किस रंग के थे। अंडे कितने भी हो सकते हैं। अंडे कुछ नहीं खाते। किसी तरह तो बच्चे निकलते ही होंगे। बच्चों के पर निकल ही जाते हैं। घौंसला कैसा भी हो सकता है।

प्रश्न 4.
(क) केशव ने झुंझलाकर कहा…
(ख) केशव रोनी सूरत बनाकर बोला…
(ग) केशव घबराकर उठा…
(घ) केशव ने टोकरी को एक टहनी से टिकाकर कहा…
(ङ) श्यामा ने गिड़गिड़ाकर कहा…
ऊपर लिखे वाक्यों में रेखांकित शब्दों को ध्यान से देखो। ये शब्द रीतिवाचक क्रियाविशेषण का काम कर रहे हैं क्योंकि ये बताते हैं कि कहने, बोलने और उठने की क्रिया कैसे हुई। ‘कर’ वाले शब्दों के क्रियाविशेषण होने की एक पहचान यह भी है कि ये अक्सर क्रिया से ठीक पहले आते हैं। अब तुम भी इन पाँच क्रियाविशेषणों का वाक्यों में प्रयोग करो।
उत्तर:

  1. राधिका हँसकर बोली।
  2. मैं यहाँ पैदल चलकर आया हूँ।
  3. इसलिए थककर चूर हो गया हूँ।
  4. सैनिक सीमा लांघकर चला आया।
  5. सोनू स्वप्न में हड़बड़ाकर उठ गया।

प्रश्न 5.
नीचे प्रेमचंद की कहानी ‘सत्याग्रह’ का एक अंश दिया गया है। तुम इसे पढ़ोगे तो पाओगे कि विराम चिन्हों के बिना यह अंश अधूरा-सा है। तुम आवश्यकता के अनुसार उचित जगहों पर विराम चिन्ह लगाओ-
उसी समय एक खोमचेवाला जाता दिखाई दिया 11 बज चुके थे चारों तरफ सन्नाटा छा गया था पंडित जी ने बुलाया खोमचेवाले खोमचेवाला कहिए क्या भूख लग आई न अन्न-जल छोड़ना साधुओं का काम है हमारा आपका नहीं मोटेराम अबे क्या कहता है यहाँ क्या किसी साधु से कम हैं चाहें तो महीने पड़े रहें और भूख न लगे तुझे तो केवल इसलिए बुलाया है कि ज़रा अपनी कुप्पी मुझे दे देखू तो वहाँ क्या रेंग रहा है मुझे भय होता है
उत्तर:
उसी समय एक खोमचे वाला जाता दिखाई दिया। 11 बजे चुके थे, चारों ओर सन्नाटा छा गया था। पंडित जी ने बुलाया, खोमचे वाले! खोमचे वाला कहिए क्या दूँ? भूख लग आई न, अन्न जल छोड़ना साधुओं का काम है, हमारा आपका नहीं मोटेराम। अबे क्या कहता है? यहाँ क्या किसी साधु से कम हैं, चाहें तो महीने पड़े रहें और भूख न लगे। तुझे तो केवल इसलिए बुलाया है कि ज़रा अपनी कुप्पी मुझे दे, देखू तो वहाँ क्या रेंग रहा है? मुझे भय होता है।

गर्मियों या सर्दियों में जब तुम्हारी लंबी छुट्टियाँ होती हैं, तो तुम्हारा दिन कैसे बीतता है? अपनी बुआ या किसी और को एक पोस्टकार्ड पर पत्र लिखकर बाताओ।

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 3 नादान दोस्त

गद्यांशों की सप्रसंग व्याख्या

1. केशव के घर ……………….. पढ़ने-लिखने से !

प्रसंग- प्रस्तुत गद्यांश हमारी पाठ्य-पुस्तक ‘वसंत’ में संकलित पाठ ‘नादान दोस्त’ से लिया गया है। इसके लेखक ‘मुंशी प्रेमचंद’ जी हैं। इस पाठ में उन्होंने बालपन में उठने वाली जिज्ञासाओं को बड़े ही मनोवैज्ञानिक ढंग से प्रस्तुत किया है।

व्याख्या- केशव के घर की कार्निस पर एक चिड़िया ने अंडे दिए थे। उन अंडों को सेने के लिए एक चिड़िया निरंतर वहाँ आती जाती थी। जब भी वे सुबह को उठते तो चिड़ा-चिड़िया को वहाँ बैठे पाते। उनका रोज सुबह उठकर चिड़िया को वहाँ बैठे देखने का क्रम निरंतर चल रहा था। दोनों बच्चे उनको देखने में इतना मग्न हो जाते कि उनको पता ही नहीं रहता कि कुछ खाना-पीना भी है। उनको अपनी मन पसंद दूध जलेबी की भी सुध न रहती थी। दोनों के मन में अनेक प्रकार के प्रश्न उठते-रहते कि अंडे कैसे होंगे? कितने बड़े होंगे? उनका रंग कैसा होगा? क्या खाकर वे अंडे बड़े होंगे? फिर उन अंडों से बच्चे किस प्रकार निकलेंगे? उनके लिए कैसा घौंसला होगा? किस प्रकार रहेंगे? वे दोनों बच्चे अपने आपसे ही प्रश्न करते और स्वयं ही उनका उत्तर दे देते। घर का कोई व्यक्ति उनकी जिज्ञासा शांत करने वाला नहीं था न तो अम्मा जी को अपने कामों से फुरसत थी न पिताजी को अपने दफ्तर के कामों से। उन बच्चों की जिज्ञासा उनके मन में ही दबी रह जाती।

2. किवाड़ केशव ………………. बातें थीं।

प्रसंग- प्रस्तुत गद्यांश हमारी पाठ्य-पुस्तक ‘वसंत’ में संकलित पाठ ‘नादान दोस्त’ से लिया गया है। प्रेमचंद जी ने यहाँ बच्चों के भोलेपन का स्वाभाविक चित्रण किया है।

व्याख्या- जब अम्मा ने आकर बच्चों को डाँट लगाई तो श्यामा ने यह नहीं बताया कि कमरे का दरवाजा केशव ने खोला था। श्यामा भले ही केशव को कितनी धमकियाँ दे रही थी कि यदि तुम मुझे अंडे नहीं दिखाओगे तो मैं अम्मा से बता दूँगी। परन्तु उसे डर था कि केशव बेचारा पिट जाएगा अतः वह चुप रही। केशव को डर था कि श्यामा उसकी शिकायत अवश्य ही करेगी। वह डर के कारण काँप रहा था क्योंकि उसने श्यामा को अंडे नहीं दिखाए थे। उसको विश्वास नहीं था कि वह माँ को शिकायत लगाए बिना रहे। श्यामा को अपने भाई से प्यार था शिकायत न करने की यह भी वजह हो सकती है, दूसरी वजह यह भी हो सकती है कि वह भी इस कसूर में केशव के साथ भागीदार थी।

NCERT Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 3 नादान दोस्त

नादान दोस्त Summary

कविता का सार

केशव के घर के कार्निस पर एक चिड़िया ने अंडे दे रखे थे। केशव व उसकी बहिन श्यामा बड़े ध्यान से चिड़िया को वहाँ आते-जाते देखते थे। उनको देखने में दोनों बच्चों को बहुत आनंद मिलता था। वे इतने तल्लीन हो जाते थे कि उनको खाने पीने की भी सुध नहीं रहती थी। अंडों के बारे में जानने के लिए उनके मन में बहुत जिज्ञासा थी। अंडों से बच्चे किस प्रकार निकलेंगे? फिर उनके कैसे पर निकलेंगे, उनकी इन जिज्ञासाओं को शांत करने वाला कोई न था। वे अपने सवालों का अपनी कल्पना के आधार पर ही उत्तर दे देते। जब कई दिन हो गए तो फिर एक सवाल खड़ा हो गया कि जब बच्चे निकलेंगे तो चिड़िया उनके लिए दाना कहाँ से लाएगी। उन दोनों ने कार्निस पर दाना रखने एवं उनके रहने की समस्या का समाधान करने की सोची। उन्होंने निश्चय किया कि घौंसले के ऊपर कपड़े की छत बना दी जाए। श्यामा माँ की आँख बचाकर चुपके से मटके से चावल ले आई। केशव ने पानी पीने के बर्तन का इन्तजाम किया। उनके ऊपर छाया करने के लिए वे कूड़ा फेंकने वाली टोकरी ले आए।

गर्मी के दिन थे उनके पिताजी दफ्तर गए हुए थे तथा माता दोपहर में सो रही थी। बच्चों को अपने काम को अन्जाम देने का यह सबसे उपयुक्त समय लगा। वे चुपचाप बाहर निकल आए। केशव कमरे से एक स्टूल ले आया परन्तु स्टूल छोटा था उस पर चढ़कर कार्निस तक हाथ नहीं जा रहा था। श्यामा स्टूल के नीचे रखने के लिए नहाने वाली चौकी ले आई। अब चौकी पर स्टूल रखकर कार्निस तक पहुंचा जा सकता था। श्यामा ने बड़े ध्यान से स्टूल को पकड़कर रखा केशव कार्निस तक पहुँचा। केशव ने बताया कि यहाँ केवल तीन अंडे हैं। श्यामा भी अंडों को देखने के लिए लालायित थी। केशव ने कहा कि तुम्हें भी दिखा दूंगा पहले तू चिथड़े तो ले आ। केशव ने वहाँ दाना-पानी रख दिया। फिर श्यामा जिद करने लगी तो केशव ने कहा तू गिर पड़ेगी तो अम्मा से मुझे मार पड़ेगी, क्या करेगी देखकर जब अंडों से बच्चे निकलेंगे तो उनको देख लेना।

अब दोनों चिड़िया बार-बार कार्निस पर आती और बगैर वहाँ बैठे ही चली जाती थी। श्यामा अंडे न देख पाने के लिए नाराज थी। वह केशव को माँ से शिकायत करने की धमकी दे रही थी। तभी माँ आ गई वह उनको कहने लगी जब तुमको मना किया था तो तुम यहाँ क्यों आए। श्यामा ने माँ से कुछ नहीं कहा कि दरवाजा किसने खोला था। माँ ने दोनों को डाँट-डपटकर फिर उनको कमरे में बंद कर दिया। चार बजे श्यामा की आँख खुली तो वह दौड़ी कार्निस के पास आई। उसने कार्निस की ओर देखा तो वहाँ टोकरी का पता नहीं था। अंडे नीचे गिर गए थे। केशव घबराकर बाहर आया। उनके चेहरे का रंग उड़ा हुआ था। श्यामा पूछ रही थी कि भइया बच्चे कहाँ उड़ गए। केशव ने उसे डाँटते हुए कहा कि तेरे सर में देखती नहीं अंडे टूटे पड़े हैं। तभी उनकी माँ हाथ में सोटी लेकर बाहर आई और पूछा कि तुम यहाँ धूप में क्या कर रहे हो। श्यामा ने बताया कि अम्मा जी चिड़िया के अंडे टूटे पड़े हैं। अम्मा बोली कि तुमने अवश्य ही उनको छुआ होगा। श्यामा ने अपने भाई पर तरस खाए बगैर ही कह दिया कि अम्मा केशव ने अंडों को छेड़ा था। माँ ने कहा, क्या तुमको इतना पता नहीं कि छूने से अंडे गंदे हो जाते हैं। चिड़िया फिर उनको नहीं सेती। माँ ने कहा इस दुष्ट केशव ने तीन जाने ले लीं इसकी वजह से ही ये अंडे फूटे हैं। केशव ने रोनी सूरत बनाते हुए कहा मैंने तो अंडों को गद्दी पर रखा था। माँ को हँसी आ गई परन्तु केशव के मन में कई दिनों तक अपनी गलती पर अफसोस होता रहा। वह इस घटना को याद करके कभी-कभी रो पड़ता था। इसके बाद वहाँ वे चिड़ियाँ दिखाई नहीं दीं।

शब्दार्थ:
कार्निस – दीवार की कँगनी, सूराख – छेद, सयाना – बड़ी उम्र का/अनुभवी, सुध – होश, हिकमत – युक्ति, उपाय, तसल्ली – सांत्वना, दिलासा, ढाढ़स, हिफाज़त – रक्षा, फुर्र – छोटी चिड़ियों के उड़ने से होने वाली, आहिस्ता – धीरे से, धीरे-धीरे, परों की आवाज धीमी आवाज़ से, जिज्ञासा – जानने की इच्छा, यकायक – अचानक, अफ़सोस – खेद, रंग उड़ना – घबरा जाना, पेचीदा – उलझनवाला, कंठिन, टेढ़ा, अधीर – उतावला, आकुल, उधेड़बुन – सोच विचार.

 

Chapterwise Hindi NCERT Solutions Class 6

NCERT Solutions for Class 6 English Honeysuckle Chapter 10 The Banyan Tree

NCERT Solutions for Class 6 English

The Banyan Tree NCERT Solutions for Class 6 English Honeysuckle Chapter 10

The Banyan Tree NCERT Text Book Questions and Answers

The Banyan Tree Working with the text

A. Complete the following sentences.

Question 1.
The old banyan tree “did not belong” to grandfather, but only to the boy, because…
Answer:
his old grandfather could no longer climb it.

Question 2.
The small gray squirrel became friendly when…
Answer:
he found that the boy did not have a catapult or an air gun.

Question 3.
When the boy started to bring him pieces of cake and biscuit, the squirrel…
Answer:
began taking pieces of food from the boy’s hands itself.

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

Question 4.
In the spring, the banyan tree…, and… would come there.
Answer:
was full of small red figs; birds of all kinds.

Question 5.
The banyan tree served the boy as a…
Answer:
tree library.

Question 6.
The young boy spent his afternoons in the tree…
Answer:
reading and looking down below at whatever was happening

B. Answer the following questions.

Question 1.
“It was to be a battle of champions. ”

i. What qualities did the two champions have? Pick out words and phrases from the paragraph above this line in the text and write them down.
Answer:
Mongoose: superb fighter; clever; aggressive Cobra: swift; skilful; experienced

ii. What did the cobra and the mongoose do, to show their readiness for the fight?
Answer:
Hissing defiance, the snake darted in and out his forked tongue. He spread his broad, spectacled hood. The mongoose bushed his tail and the long hair on his spine stood up.

Question 2.
Who were the other two spectators? What did they do? (Did they watch, or did they join in the fight?)
Answer:
The other two spectators were a jungle crow and a myna. They sat on a cactus plant and tried to hurl themselves at the snake twice. They tried to join the fight, but were no match to the cobra.

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

Question 3.
Read the descriptions below of what the snake did and what the mongoose did. Arrange their actions in the proper order.
Answer:

Snake Mongoose
ii. tried to mesmerize the mongoose refused to look into the snake’s eyes
vi. struck on the side that the mongoose pretended to attack pretended to attack the cobra on side
v. struck again and missed sprang aside, jumped in and bit
iv. struck the crow darted away and bit the cobra on the back
iii. coiled itself around the mongoose grabbed the snake by the snout
i. ceased to struggle dragged the snake into the bushes

Question 4.
i. What happened to the crow in the end?
Answer:
The crow was finally flung by the cobra twenty feet across the garden. The cobra had struck him with his venom and he died in the end.

ii. What did the myna do finally?
Answer:
Finally, the myna dropped cautiously to the ground, hopped about, peered into the bushes from a safe distance, and then, with a shrill cry of congratulation, flew away.

The Banyan Tree Working with language

A. Question 1.
The word ‘round’ usually means a kind of shape. What is its meaning in the story?
Answer:
The word ‘round’ in the story denotes the division of the fight between the mongoose and the cobra. In sports, matches are often divided between rounds. The author has used the term to indicate that he was watching a match between the two as an audience.

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

Question 2.
Find five words in the following paragraph, which are generally associated with trees. But here, they have been used differently. Underline the words.
Answer:
Hari leaves for work at nine every morning. He works in the local branch of the firm of which his uncle is the owner. Hari s success is really the fruit of his own labour. He is happy, but he has a small problem. The root cause of his problem is a stray dog near his office. The dog welcomes Hari with a loud bark every day.

B. The words in the box are all words that describe movement. Use them to fill in the blanks in the sentences below.

  1. When he began to trust me, the squirrel began delving into my pockets for morsels of cake.
  2. I saw a cobra gliding out of a clump of cactus.
  3. The snake hissed, his forked tongue darting in and out.
  4. When the cobra tried to bite it, the mongoose sprang aside.
  5. The snake whipped his head back to strike at the crow.
  6. The birds dived at the snake.

C. Find words in the story, which show things striking violently against each other.

  1. The cobra struck the crow, his snout thudding against its body.
  2. The crow and the myna colliding in mid-air.
  3. The birds dived at the snake, but bumped into each other instead.

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

D. Choose would and could to replace the italicized words in the following sentences.

Grandfather says, in the old days,
1. elephants were able to fly in the sky, like clouds. They were also able to change their shapes. They used to fly behind clouds and frighten them. People used to look up at the sky in wonder.
2. because there was no electricity, he used to get up with the sun, and he used to go to bed with the sun, like the birds.
3. like the owl, he was able to see quite well in the dark. He was able to tell who was coming by listening to their footsteps.
Answer:
1. elephants could in the sky, like clouds. They could also change their shapes. They would fly behind clouds and frighten them. People would look up at the sky in wonder.
2. because there was no electricity, he would get up with the sun, and he would go to bed with the sun, like the birds.
3. like the owl, he could see quite well in the dark. He could tell who was coming by listening to their footsteps.

The Banyan Tree Speaking

  1. Both Zeba and Rani are taller than Ruby. But Zeba is as tall as Rani.
  2. Akshay is as heavy as Vijay. Anwar is taller than both of them.
  3. Shimla is as cold as Gangtok. Srinagar is colder than both these places.
  4. Romi’s pencil is as long as Raja’s pencil. Mona’s pencil is longer than both of their pencils.
  5. Nagpur is as hot as Delhi. Chennai is not as hot as any of them.

The Banyan Tree Writing

Read again the paragraphs of the story in which the author describes the banyan tree, and what he used to do there. Is there a place in your house, or in your grandparents ’ or uncles’or aunts ’ houses, that you specially like? Write a short paragraph about it, saying

  • where it is
  • what you do there
  • why you like it

You may instead write about a place you dislike, or are afraid of
(Encourage the students to use their creativity and formulate their own answers.)
Answer:
My most favourite place in the world is my grandparents’ home in Mussorie. I have a separate room there on the first floor. The room looks out to a gurgling brook which flows outside it. The water of the brook emanates from a glacier and is very cold. I love washing my face with it and dipping my feet into it.

I often look at this small brook from the two large windows on both walls of my room. I love hearing the sound that it makes. It seems to me like some naughty children are frolicking about. I have many books in the room, and often laze around in my room, or soak the sun while reading or sketching.

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

My grandmother makes a special concoction for the colder days and it is something that I enjoy with all my heart. Often she tells us interesting stories while I and my siblings sit around her, wrapped in blankets with warm drink in our hands and happiness in our hearts. We all have dinner together, and then we go for a stroll together, while the stars are shining brightly in the sky. Our dog, Lucky, follows us to these nighttime walks and we are just happy to have him around.

NCERT Solutions for Class 6 English Honeysuckle Chapter 5 A Different Kind of School

NCERT Solutions for Class 6 English

A Different Kind of School NCERT Solutions for Class 6 English Honeysuckle Chapter 5

A Different Kind of School NCERT Text Book Questions and Answers

A Different Kind of School Working with the text

A. Put these sentences from the story in the right order and write them out in a paragraph. Don’t refer to the text.
Answers
Let’s go for a little walk. Only you must tell me about things. I shall be so glad when today is over. The other bad days can’t be half as bad as this. Having a leg tied up and hopping about on a crutch is almost fun, I guess. I don’t think I’ll mind being deaf for a day – at least not much. But being blind is so frightening.

B. Answer the following questions.

Question 1.
Why do you think the writer visited Miss Beam’s school?
Answer:
The writer visited Miss Beam’s school because he had heard a lot about her school and how different its system of education was.

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

Question 2.
What was the ‘game’that every child in the school had to play?
Answer:
The game was that each term, every child had to participate in one blind day, one lame day, one deaf day, one injured day and one dumb day.

Question 3.
“Each term every child has one blind day, one lame day… ” Complete the line. Which day was the hardest? Why was it the hardest?
Answer:
.. .one deaf day, one injured day and one dumb day. The blind day is the worst and the hardest, but many children often tell Miss Beam that the dumb day is the hardest because they have to exercise their will power on that day.

Question 4.
What was the purpose of these special days?
Answer:
The purpose of these special days was to teach the students thoughtfulness—kindness to others, and being responsible citizens. By making the children appreciate and understand misfortune, the school made them share in misfortune too.

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

A Different Kind of School Working with language

A. Match the words and phrases with their meanings in the box below.

  1. homesick: wanting to be home
  2. practically: almost
  3. it pains me: it hurts me
  4. appreciate: understanding the difficulties
  5. thoughtless: not very caring
  6. exercise: test the strength of
  7. relief: a welcome change
  8. ghastly: terrible

B. Re-word these lines from the story:

Question 1.
I had heard a great deal about Miss Beam s school.
Answer:
I had heard a lot about Miss Beam’s school.

Question 2.
Miss Beam was all that I had expected—middle-aged, full of authority.
Answer:
Miss Beam was exactly how I had imagined her to be—middle-aged and authoritative.

Question 3.
I went to the window which overlooked a large garden.
Answer:
I approached the window which overlooked a huge garden.

Question 4.
“We cannot bandage the children s mouths, so they really have to exercise their will-power. ”
Answer:
“We cannot cover the children’s mouths, so they must have a strong will power throughout the day.”

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

C. Question 1.
Given below is a page from a dictionary. Look at it carefully and
i. find a word which means the same as ghastly. Write down the word and its two meanings.
ii. find a word meaning a part of the school year, in. find a word that means examination.
Answer:
i. terrible: causing fear; very bad
ii. term
iii. test

Question 2.
i. terrace; terraced; terrible; terribly; terrify; terrifying; terrified; terror; territory; territories; terrain; terrorism; terrorist
ii. five words that may follow the last word on the page, that.
iii. thank: to be grateful for something
Dictionary word: express gratitude to (someone)

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

A Different Kind of School Speaking and Writing

A. Make a short list of things you find difficult to do.
(Encourage the students to come up with their own answers.)
Answer:
There are many things that I find hard to do. For example, it is not an easy task for me to do a hula hoop. I think this is because it requires one to do two things at one time, and that for me, is not an easy task.

B. Look at your hands carefully. Now, write down for each finger one action for which that finger is particularly important. For example, the second (or index) finger helps to hold the knife down firmly when cutting.
Answer:

  • The thumb helps us to do everything such as holding, carrying, picking things, etc. But I think the most important of all would be writing.
  • Without the index finger, I would not be able to hold a glass or to play carrom.
  • If I did not have a middle finger. I would not be able to snap or click sound with my fingers. I don’t think I can tie my shoelaces if I did not have a ring finger.
  • Without the pinky, I will not be able to do my secret handshake with my best friend. We call it the ‘pinky swear’.

NCERT Solutions for Class 6 English Honeysuckle Poem 7 Vocation

NCERT Solutions for Class 6 English

Vocation NCERT Solutions for Class 6 Honeysuckle Poem 7

Vocation NCERT Text Book Questions and Answers

Vocation Working with the poem

Question 1.
Your partner and you may now be able to answer these questions.

i. Who is the speaker in the poem? Who are the people the speaker meets? What are they doing?
Answer:
The speaker in the poem is a schoolgoing child. The people he meets are the people one typically finds around in one’s neighbourhood having different vocations, such as a hawker, a gardener, and a watchman. Each of them is performing their duties. The hawker is selling crystal bangles; the gardener is digging the garden of a house, and the night watchman is keeping a guard in the locality.

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

ii. What wishes does the child in the poem make? Why does the child want to be a hawker, a gardener, or a watchman? Pick out the lines in each stanza, which tell us this.
Answer:
The child wishes to be a hawker, a gamer or a watchman. He wants to be a hawker so that he also has the freedom to roam about in any street he wants, and return home when he pleases.
He wants to be a gardener so that he can spend all his day playing in the ground and not get scolded for soiling his clothes.

As a watchman, the child can roam in the streets even at night and play shadow games with his lantern. He does not like to go to bed at night.

The following are the lines which tell us this:

  • I wish I were a hawker, spending my day in
    the road, crying, “Bangles, crystal bangles!”
  • I wish I were a gardener digging away at the
    garden with nobody to stop me from digging.
  • I wish I were a watchman walking the street
    all night, chasing the shadows with my lantern.

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

iii. From the way the child envies the hawker, the gardener and the watchman, we can guess that there are many things the child has to do, or must not do.
Answer:

The child must The child must not
come home at a fixed time. get his clothes dirty in the dust.
go to bed on time. spends time under the sun.
I must make my own bed. gets wet in rain.
I must wake up on time and go to school every day. walk the streets at night.
I must complete my homework daily and help my parents with chores. I must not leave home without an elder.
I must take a bath daily. I must not talk to strangers

iv. Like the child in the poem, you perhaps have your own wishes for yourself. Talk to your friend, using “I wish I were… ” (Encourage the students to use their creativity and formulate their own answers.)
Answer:

  • I wish I were a dog so that I could sleep all day long and not have to go to school.
  • I wish I were an astronaut visiting and studying the space.
  • I wish I were an alien with special powers.
  • I wish I were a superhero that could save the world from evil people.

Question 2.
Find out the different kinds of work done by the people in your neighbourhood. Make different cards for different kinds of work. You can make the card colourful with pictures of the persons doing the work.
(Encourage the students to use their creativity and complete the activity.)
Answers:

  • A scrapdealer: The scrapdealer takes care of the environment by helping us recycle scraps of waste.
  • Fruit vendor: The fruit vendor brings fresh fruits and vegetables to our locality right at our doorstep.
  • Cleaners and sweepers: The sweepers and cleaners do the most important job in our neighbourhood by keeping it clean and hygienic. We should treat them well.

NCERT Solutions for Class 6 English A Pact with the Sun Chapter 7 The Wonder Called Sleep

NCERT Solutions for Class 6 English

The Wonder Called Sleep NCERT Solutions for Class 6 A Pact with the Sun Chapter 7

The Wonder Called Sleep NCERT Text Book Questions and Answers

Question 1.
What is the most obvious advantage of sleep?
Answer:
The most obvious advantage of sleep is that it helps our body recover from the fatigue caused by the activities of the day. It helps us to get ready to face the next day’s activities.

Question 2.
What happens to our body when we sleep?
Answer:
Several things happen to our body while we are sleeping. As we sink deeper into sleep, our muscles relax more and more. Our heartbeat becomes slower. Our temperature and blood pressure also reduces considerably. The ever-active brain also slows down so that we can’t think or act consciously.

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

Question 3.
Define a dream in your own words.
Answer:
A dream is a series of thoughts, images and sensations that we see, feel and sense when we are asleep.

Question 4.
Why are dreams important? Mention two reasons.
Answer:
Dreams are important firstly because they help us sleep through noise and other disturbances. Secondly, scientists have deduced that dreams have powerful messages for us. They reveal our deepest fears, insecurities and motivations. If understood correctly, they can help us find solutions to problems that are bothering us.

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

Question 5.
Why has sleep been called a wonder?
Answer:
Sleep has been called a wonder because it has a strange power over us. We have no idea about when and how we drift off to sleep, and one cannot even go without sleeping for a long time. It gives our body the required rest. It is like an unknown state that nobody has been able to fathom the depths of.

Question 6.
Describe briefly to the class an improbable dream you have ever had.
(Encourage the students to describe an improbable dream they have had.)
Answer:
Once I dreamt that I had turned into a potato, and was lying on a plate with boiled peas and other boiled vegetables. A party was going on, and all my family was sitting around the dinner table talking to each other. I was shouting from where I was, but nobody seemed to be able to hear me. I could hardly move.

All of a sudden, someone picked up the plate where I was kept and I rolled down into my mother’s plate. I could see the tines of the fork coming at me, while I was shouting the entire time. I woke up suddenly with beads of sweat rolling down my forehead. What a nightmare that was!

NCERT Solutions for Class 8 English Honeydew Chapter 1 The Best Christmas Present in the World

Extra question – Grandmothers and mothers sing nice little songs while rocking little ones to sleep. Such a song is called a ‘lullaby ’. Do you remember a lullaby in your own language? Tell the class in English what the lullaby says.
(Encourage the students to share or sing a lullaby in the class.)
Answer:
My grandmother and mother used to tap my head in a rhythmic motion, and sung me lullabies to make me go to sleep. They were almost always in Hindi. A lullaby is a quiet and gentle song sung to send a child to sleep.

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